रैनबैक्सी के खिलाफ सुनवाई टली
सुप्रीम कोर्ट ने रैनबैक्सी पर मिलावटी दवा बनाने व बेचने का आरोप लगाने वाली याचिका पर सुनवाई बुधवार तक टाल दी। कोर्ट ने याचिकाकर्ता से कहा है कि वह अपने आरोपों के समर्थन में पुख्ता सामग्री पेश करे। साथ ही कोर्ट ने अमेरिकी कोर्ट का वह आदेश भी पेश करने को कहा है जिसमें मिलावटी दवा बनाने और बेचने पर कंपनी
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने रैनबैक्सी पर मिलावटी दवा बनाने व बेचने का आरोप लगाने वाली याचिका पर सुनवाई बुधवार तक टाल दी। कोर्ट ने याचिकाकर्ता से कहा है कि वह अपने आरोपों के समर्थन में पुख्ता सामग्री पेश करे। साथ ही कोर्ट ने अमेरिकी कोर्ट का वह आदेश भी पेश करने को कहा है जिसमें मिलावटी दवा बनाने और बेचने पर कंपनी पर 50 करोड़ डॉलर का जुर्माना लगाया गया है।
सोमवार को न्यायमूर्ति सुधा मिश्र व न्यायमूर्ति मदन बी लोकूर की पीठ ने वकील मनोहर लाल शर्मा की जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान यह निर्देश दिए। शर्मा ने अमेरिकी अदालत के आदेश को आधार बनाते हुए रैनबैक्सी के खिलाफ जनहित याचिका दाखिल की है। याचिका में कंपनी पर मिलावटी दवा बनाने व बेचने का आरोप लगाते हुए कार्रवाई की मांग की गई है।
कंपनी की देवास और पोंटा साहिब स्थिति दवा निर्माण यूनिटें बंद करने और कंपनी का लाइसेंस रद किए जाने की भी मांग की गई है। सोमवार को याचिका पर सुनवाई के दौरान एमएल शर्मा ने दलील दी कि यह लोगों के स्वास्थ्य से जुड़ा गंभीर मामला है। अमेरिका के ड्रग विभाग ने अपनी जांच में पाया है कि कंपनी मिलावटी दवा बनाती है।
अमेरिकी कोर्ट ने कंपनी पर जुर्माना भी लगाया है। शर्मा का कहना था कि कंपनी वही दवाएं भारत व अन्य देशों में बेच रही है। सरकार उसके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर रही है। इन दलीलों पर पीठ ने कहा कि यह गंभीर मामला है। वह अपने आरोपों के समर्थन में कोई पुख्ता सामग्री पेश करें और बताएं कि किस आधार पर वह कह रहे हैं कि कंपनी मिलावटी दवा बनाती है।
कोर्ट मीडिया रिपोर्ट पर आदेश नहीं दे सकती। पीठ ने मामले की सुनवाई टालते हुए यह भी कहा कि याचिकाकर्ता ड्रग कंट्रोलर को भी पक्षकार बनाएं।