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प्राकृतिक खेती के लिए 1 करोड़ किसानों को PM प्रणाम, केमिकल फर्टिलाइजर के संतुलित प्रयोग को मिलेगा प्रोत्साहन

केमिकल फर्टिलाइजर के अंधाधुंध प्रयोग से घट रही मिट्टी की उत्पादकता को संरक्षित करने के लिए पीएम प्रणाम (प्रोग्राम फॉर रेस्टोरेशन अवेयरनेस नोरिशमेंट एंमेलियोरेशन आफ मदर अर्थ) योजना लाई गई है। इसमें जैविक खाद को बढ़ावा दिया जाएगा।

By Jagran NewsEdited By: Ashisha Singh RajputPublished: Wed, 01 Feb 2023 06:00 PM (IST)Updated: Wed, 01 Feb 2023 06:00 PM (IST)
प्राकृतिक खेती के लिए 1 करोड़ किसानों को PM प्रणाम, केमिकल फर्टिलाइजर के संतुलित प्रयोग को मिलेगा प्रोत्साहन
छह, हरित भारत-केमिकल फर्टिलाइजर के संतुलित प्रयोग और वैकल्पिक फर्टिलाइजर को प्रोत्साहन

नई दिल्ली, सुरेंद्र प्रसाद सिंह। प्राकृतिक खेती की ओर अग्रसर एक करोड़ किसानों के लिए 'पीएम प्रणाम' योजना शुरू की जाएगी। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आम बजट में प्रमुखता से इसका उल्लेख करते हुए केमिकल फर्टिलाइजर के संतुलित प्रयोग के साथ वैकल्पिक फर्टिलाइजर को प्रोत्साहन देने की घोषणा की है।

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10 हजार करोड़ रुपए की योजना से जैविक खाद में बदलेंगे शहरी कचरे

योजना पर कुल 10 हजार करोड़ रुपे की लागत आएगी। इससे जहां धरती के प्रदूषण को घटाकर मिट्टी की सेहत में सुधार को बल मिलेगा, वहीं 'गोबरधन' जैसी योजना से 500 नए संयंत्र लगाने का रास्ता साफ हो जाएगा। आम बजट में मिट्टी की सेहत के साथ कृषि उपज की पोषण क्षमता में वृद्धि को प्रमखता दी गई है।

जैविक खाद को दिया जाएगा बढ़ावा

केमिकल फर्टिलाइजर के अंधाधुंध प्रयोग से घट रही मिट्टी की उत्पादकता को संरक्षित करने के लिए पीएम प्रणाम (प्रोग्राम फॉर रेस्टोरेशन, अवेयरनेस, नोरिशमेंट एंमेलियोरेशन आफ मदर अर्थ) योजना लाई गई है। इसमें जैविक खाद को बढ़ावा दिया जाएगा। इसके तहत 200 कंप्रेस्ड बायोगैस संयंत्र लगाए जाएंगे। पराली समेत अन्य बायोमास को एकत्रित करने और जैविक खाद के वितरण के लिए खजाने से मदद भी जाएगी। ऐसे संयत्र सामुदायिक या क्लस्टर आधारित होंगे।

किसानों की आमदनी बढ़ाने की दिशा में

वित्तमंत्री सीतारमण ने आम बजट में प्राकृतिक खेती के लिए राष्ट्रीय स्तर पर माइक्रो फर्टिलाइजर और कीटनाशकों के उत्पादन का नेटवर्क तैयार करने 10 हजार बायो इनपुट रिसोर्स केंद्र खोलने का प्रस्ताव रखा है। अगले तीन सालों के भीतर सरकार एक करोड़ किसानों को प्राकृतिक खेती अपनाने के लिए सरकारी सहायता देने का फैसला किया है। किसानों की आमदनी बढ़ाने की दिशा में यह एक बड़ा प्रयास है। गोबरधन (गैल्वनाइजिंग आर्गेनिक बायो एग्रो रिसोर्स धन) से किसानों की चक्रीय अर्थव्यवस्था को बढ़ाने में मददगार साबित होगी।

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