अब रोजाना होगा एमएसएमई की जीएसटी शिकायतों का निवारण
सीबीआइसी जीएसटी पर सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यमों (एमएसएमई) की शिकायतों को दैनिक आधार पर देखेगा
नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीआइसी) वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) पर सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यमों (एमएसएमई) की शिकायतों को दैनिक आधार पर देखेगा। यह फैसला नई कर व्यवस्था में छोटे कारोबारियों को हो रही परेशानियों को दूर करने की कोशिशों के तहत लिया गया है। इसके साथ ही उन सभी 80 जिलों में जीएसटी हेल्प डेस्क स्थापित कर दी गई है, जहां सरकार ने पिछले सप्ताह एमएसएमई के लिए 100 दिवसीय सपोर्ट और आउटरीच कार्यक्रम शुरू किया है।
एक अधिकारी ने कहा कि सीबीआइसी ने अब डायरेक्टरेट जनरल ऑफ जीएसटी के तहत एक फीडबैक एंड एक्शन रूम (एफएआर) स्थापित करने का फैसला किया है, ताकि एमएसएमई की सभी शिकायतों को रिकॉर्ड और प्रोसेस किया जा सके। जीएसटी हेल्प डेस्क में नोडल अधिकारी होंगे, जो छोटे कारोबारियों को जीएसटी पर हो रही परेशानियों में मदद करेंगे। नोडल अधिकारी कोई भी शिकायत आने पर उसे तुरंत एफएआर को रिपोर्ट करेंगे, जो उसका समाधान बताएगा।
एक अधिकारी ने कहा कि एफएआर में दिल्ली -एनसीआर के अधिकारी होंगे। वे शिकायत निपटान के सभी चरणों का एक मास्टर रिकॉर्ड तैयार करेंगे और दैनिक आधार पर बोर्ड को एक संक्षिप्त रिपोर्ट भेजेंगे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गत शुक्रवार को एमएसएमई सेक्टर के लिए कई घोषणाएं कीं। इनमें तेजी से लोन मंजूर होना और पर्यावरण नियमों का आसान अनुपालन शामिल हैं। जीएसटी में पंजीकृत एमएसएमई को एक करोड़ रुपये तक के नए लोन पर दो फीसद छूट या सब्सिडी भी मिलेगा। एमएसएमई सेक्टर में 6.3 करोड़ से अधिक इकाइयां काम कर रही हैं। इस सेक्टर में 11.1 करोड़ लोगों को रोजगार मिला हुआ है।