फोर्टिस ने कहा, सिंह बंदु 473 करोड़ रुपये की कर्ज राशि का करेंगे भुगतान
फोर्टिस ने शुक्रवार को बताया है कि कंपनी के प्रोमोटर्स ने कर्ज के रूप में 473 करोड़ रुपये निकाले हैं
नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। देश की दूसरी सबसे बड़ी हेल्थकेयर सेवा प्रदाता कंपनी फोर्टिस ने शुक्रवार को बताया है कि कंपनी के प्रोमोटर्स ने कर्ज के रूप में 473 करोड़ रुपये निकाले हैं। मलविंदर सिंह और शिविंदर सिंह ने जो यह राशि निकाली है वह इस साल जून तक भुगतान की जाएगी।
फोर्टिस ने अपने बयान में कहा है कि यह सुरक्षित लोन है और इसका रिपेमेंट की प्रक्रिया पेमेंट शेड्यूल के हिसाब से शुरू हुई है। कंपनी ने कहा है कि निकाले गए फंड का इस्तेमाल सुरक्षित निवेश के लिए किया गया है। साथ ही कंपनी ने दूसरी तिमाही के नतीजों पर ऑडिटर्स की ओर से उठाए गए सवालों को भी गलत करार किया है और ये कहा है कि 13 फरवरी, 2018 को कंपनी के नतीजे जारी किए जाएंगे। वहीं दूसरी ओर वित्त वर्ष 2018 की अक्टूबर से दिसंबर तिमाही के लिए नतीजों के लिमिटेड रिव्यू की प्रक्रिया चल रही है। फोर्टिस ने बताया कि उसने फंड को सिक्योर्ड शॉर्ट टर्म में निवेश किया है।
मलविंदर सिंह और शिविंदर सिंह का फोर्टिस हेल्थकेयर में 34 फीसद की हिस्सेदारी है जो कि बनी रहेगी। हालांकि कोर्ट की ओर से उनके शेयर बेचने पर रोक लगी हुई है। जापान की कंपनी दायची सैंक्यो ने आरोप लगाया था कि रैनबैक्सी को बेचते समय दोनों भाइयों ने यूएसएफडीए से जुड़ी जानकारी को छुपाया था। वर्ष 2008 में दोनों भाईयों ने 9,576 करोड़ रुपए की रैनबैक्सी में अपनी हिस्सेदारी को जापानी कंपनी दायची को बेच दी थी। जिसको बाद में रैनबैक्सी को दायची ने सनफार्मा को बेच दिया था।