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Flipkart ने की PhonePe को अलग इकाई बनाने की घोषणा, जानें इससे डिजिटल पेमेंट कंपनी को होगा किस प्रकार का फायदा

प्रमुख ई-कॉमर्स कंपनी Flipkart ने PhonePe को आंशिक रूप से अलग इकाई बनाने की गुरुवार की घोषणा की। हालांकि PhonePe की बहुलांश हिस्सेदारी Flipkart के पास बनी रहेगी और दोनों कंपनियां एक-दूसरे के साथ पहले की तरह सहयोग जारी रखेंगी।

By Ankit KumarEdited By: Published: Thu, 03 Dec 2020 01:59 PM (IST)Updated: Thu, 03 Dec 2020 07:42 PM (IST)
Flipkart ने की PhonePe को अलग इकाई बनाने की घोषणा, जानें इससे डिजिटल पेमेंट कंपनी को होगा किस प्रकार का फायदा
PhonePe ने हाल में 70 करोड़ डॉलर (करीब 5,172 करोड़ रुपये) जुटाए हैं।

नई दिल्ली, पीटीआइ। प्रमुख ई-कॉमर्स कंपनी Flipkart ने PhonePe को आंशिक रूप से अलग इकाई बनाने की गुरुवार की घोषणा की। हालांकि, PhonePe की बहुलांश हिस्सेदारी Flipkart के पास बनी रहेगी और दोनों कंपनियां एक-दूसरे के साथ पहले की तरह सहयोग जारी रखेंगी। कंपनी की ओर से जारी एक बयान में कहा गया है कि वृद्धि की गति और आने वाले समय में PhonePe के उल्लेखनीय ग्रोथ की संभावनाओं को देखते हुए Flipkart के बोर्ड ने तय किया है कि यह PhonePe को आंशिक रूप से अलग इकाई के रूप में स्थापित करने का उपयुक्त समय है क्योंकि इससे कंपनी अगले तीन से चार साल में अपने दीर्घकालिक लक्ष्यों को पूरा करने के लिए अलग से पूंजी जुटा सकती है। 

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PhonePe ने हाल में 70 करोड़ डॉलर (करीब 5,172 करोड़ रुपये) जुटाए हैं। इससे कंपनी का कुल वैल्युएशन 5.5 बिलियन डॉलर पर पहुंच गया है। कंपनी ने Walmart की अगुवाई वाली Flipkart के मौजूदा निवेशकों के जरिए ये फंड जुटाए हैं। 

अक्टूबर, 2020 में PhonePe के रजिस्टर्ड यूजर्स की संख्या 25 करोड़ को पार कर गई। वहीं, मासिक रजिस्टर्ड यूजर्स की संख्या 10 करोड़ के पार रही। साथ ही डिजिटल ट्रांजैक्शन की संख्या एक अरब के आसपास रही। 

PhonePe के संस्थापक और सीईओ समीर निगम ने कहा, ''Flipkart और PhonePe प्रमुख भारतीय डिजिटल प्लेटफॉर्म्स में से एक रहे हैं। दोनों के 25-25 करोड़ यूजर्स हैं। आंशिक रूप से अलग इकाई बनाए जाने से PhonePe को एक अरब भारतीयों के वित्तीय समावेशन के सपने को साकार करने के लिए दीर्घकालिक डेडिकेटेड पूंजी मिल सकेगी।''

Flipkart समूह के सीईओ कल्याण कृष्णमूर्ति ने कहा कि इस कदम से PhonePe को अपनी संभावनाओं के विस्तार में मदद मिलेगी क्योंकि इससे यह वृद्धि के नए दौर में प्रवेश करेगी। इससे फ्लिपकार्ट एवं उसके शेयरहोल्डर्स के लिए वैल्यू क्रिएशन देखने को मिलेगा।

PhonePe की स्थापना फ्लिपकार्ट के एक पूर्व कर्मचारियों निगम, राहुल चारी और बर्जिन इंजीनियर ने की थी। हालांकि, 2016 में Flipkart ने PhonePe का अधिग्रहण कर लिया था। इसके बाद 2018 में वालमार्ट ने फ्लिपकार्ट का अधिग्रहण कर लिया था। PhonePe भी इस डील में शामिल थी। 


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