GST लागू होने के बाद इन बैंकिंग सेवाओं के लिए देने होंगे ज्यादा पैसे, जानिए
देश में जीएसटी लागू होने के बाद बैंकिंग सेवाएं महंगी हो जाएंगी। ऐसे में ग्राहकों को बैंकों की सर्विसेज के लिए ज्यादा शुल्क चुकाना होगा।
नई दिल्ली (जेएनएन)। 1 जुलाई से लागू होने वाले वस्तु एवं सेवा कर कानून (जीएसटी) के बाद बैंक से जुड़ी तमाम सेवाएं महंगी हो जाएंगी। ऐसा इसलिए क्योंकि जीएसटी काउंसिल ने फाइनेंशियल सर्विसेज पर सर्विस टैक्स को बढ़ा दिया है। इसे अब 18 फीसद कर दिया है जो पहले 15 फीसद पर था। यानी इसमें सीधे तीन फीसद का इजाफा होगा। इस हिसाब से बैंकिंग संबंधी तमाम सेवाओं का महंगा होना तय है। हम अपनी खबर में बैंक संबंधी उन सेवाओं के बारे में बताने की कोशिश करेंगे जो सीधे तौर पर आम आदमी की जेब पर असर डालेंगी।
मिनिमम बैलेंस:
जीएसटी लागू होने के बाद आप अगर अपने बैंक अकाउंट में एवरेज मिनिमम बैलेंस को मैंटेन नहीं रखेंगे को आपको ऐसा करना भारी पड़ेगा। मिनिमम बैलेंस मैंटेन नहीं करने पर आपको इसके लिए शुल्क देना होगा, साथ ही इस पर आपको सर्विस टैक्स भी देना होगा। जीएसटी के बाद यह 15 फीसद के बजाए 18 फीसद के हिसाब से वसूला जाएगा। यानी बैंक से जुड़ी इस सेवा का महंगा होना तय है।
कैश ट्रांजेक्शन भी हो जाएगा महंगा:
अलग अलग बैंक आपको एक निश्चित सीमा में मासिक आधर पर लेन-देन की छूट देता है। मान लीजिए अगर कोई बैंक आपको 4 बार मुफ्त लेन-देन करने की सुविधा देता है। अगर आप इस लिमिट को क्रॉस करते हैं तो आपको बैंक चार्ज के साथ ही सर्विस टैक्स भी देना होगा, जो कि पहले के मुकाबले 3 फीसद ज्यादा होगा।
अकाउंट बंद करवाना:
अगर आप अपना कोई बैंक अकाउंट बंद करवाना चाहते हैं तो आपको इसके लिए भी बैंक को शुल्क देना पड़ता है। सामान्य तौर पर बैंक इसके लिए 500 रुपए तक का शुल्क वसूलते हैं। ऊपर से इस पर सर्विस टैक्स भी देय होता है। जीएसटी आने के बाद आपको 15 फीसद के बजाए 18 फीसद के हिसाब से सर्विस टैक्स देना होगा। यानी अब अकाउंट बंद करवाना भी आपको महंगा पड़ेगा।
एटीएम से पैसे निकालना भी होगा महंगा:
आम तौर पर बैंक आपको ATM से 5 से 8 बार मुफ्त निकासी की सुविधा देते हैं। अगर आप इस सीमा को क्रॉस करते हैं तो बैंक अलग-अलग दर से आपसे शुल्क वसूलते हैं। इस पर सर्विस टैक्स (सेवा शुल्क) भी लिया जाता है, जो अब 18 फीसद की दर से लिया जाएगा। यानी एटीएम से अब सीमा से अधिक ट्रांजेक्शन भी महंगा पड़ेगा।