गांजा तस्करी में एक को सात वर्ष का कारावास
गांजा तस्करी के एक मामले की सुनवाई पूरी करते हुए जिला जज अभिमन्यु लाल श्रीवास्तव ने कांड के नामजद अभियुक्त मोहन पटेल को दोषी पाया है।
बेतिया। गांजा तस्करी के एक मामले की सुनवाई पूरी करते हुए जिला जज अभिमन्यु लाल श्रीवास्तव ने कांड के नामजद अभियुक्त मोहन पटेल को दोषी पाया है। शुक्रवार को सुनाए गए फैसले में न्यायाधीश ने दोषसिद्ध अभियुक्त मोहन पटेल को एनडीपीएस की धारा 20(बी)(2)बी में सात वर्ष के कारावास की सजा मुकर्रर की है। न्यायाधीश ने सजायाफ्ता को 50 हजार रुपये जुर्माना देने का भी आदेश दिया है। न्यायाधीश ने कहा है कि जुर्माना की राशि नहीं देने पर एक वर्ष कारावास की सजा बढ़ा दी जाएगी। एनडीपीएस मामलों के विशेष लोक अभियोजक सुरेश प्रसाद ने बताया कि इस कांड के सूचक एसएसबी 13 वीं वाहिनी के पदाधिकारी केवल ¨सह है। 30 जनवरी 016 को उन्होंने गुप्त सूचना मिली कि एक तस्कर स्तंभ संख्या 407/52 के निकट नहर पुल से गांजा का बढ़ा खेप लेकर भारत में घुसने वाला है। उक्त सूचना के सत्यापन के लिए एसएसबी के जवान दल बल के साथ घटना स्थल पर जाल बिछाया। इसी क्रम में एक आदमी पीठ पर एक काला बैग लेकर नेपाल से भारतीय क्षेत्र में घुसा। जवानों ने उसे रूकने के लिए ललकारा। तो वह भागने लगा। दौड़ा कर जवानों ने उसे पकड़ लिया। नियमानुसार जवानों ने काले बैग की तालाशी ली, तो बैग के भीतर छिपाकर रखे 17 किलो गांजा जब्त कर लिया। पूछताछ करने पर गांजा तस्कर की पहचान नौतन थाने के श्यामपुर कोतराहां निवासी मोहन पटेल के रूप में हुई। दोनों पक्षों को सुनने के बाद न्यायाधीश ने यह आदेश सुनाया है।