15 वर्षों से विद्यालयों में धूल फांक रहे जिम के सामान
संवाद सूत्र जदिया (सुपौल) बच्चों की शिक्षा एवं स्वास्थ्य के लिए सरकार के द्वारा एक के बाद एक य
संवाद सूत्र, जदिया (सुपौल) : बच्चों की शिक्षा एवं स्वास्थ्य के लिए सरकार के द्वारा एक के बाद एक योजनाएं लाई जा रही हैं। इन योजनाओं के तहत धरातल पर शिक्षा एवं स्वास्थ्य संबंधित सामग्री भी समय- समय पर विभाग को उपलब्ध कराया जाता रहा है। कितु स्थल पर पहुंचने के बाद लाखों की सामग्री ढाक के तीन पात साबित होती रही है।
बता दें कि वर्ष 2007 में उच्च विद्यालय जदिया तथा उच्च विद्यालय कोरियापट्टी को सम विकास योजना मद से 6 लाख 50 हजार की राशि से बच्चों के स्वास्थ्य के मद्देनजर विद्यालय को जिम करने वाली सामग्री उपलब्ध कराई गई थी। हालांकि उस वक्त विद्यालय में शारीरिक शिक्षक उपलब्ध नहीं थे कितु जिम की सामग्री उपलब्ध करा दी गई थी। परिणामस्वरूप विद्यालय के एक कमरे में जिम करने वाली सामग्री को रख कर ताला जड़ दिया गया। 2015 में दोनों विद्यालय को शारीरिक शिक्षक तो उपलब्ध करा दिए गए कितु विद्यालय को उपलब्ध कराई गई जिम की सामग्री की इस तरह से उपेक्षा की गई कि मशीनों को सेट कर रखना भी मुनासिब नहीं समझा गया। यह सामग्री एक बंद कमरे में 15 वर्षों से धूल फांक रही है।
प्रभारी प्रधानाध्यापक जदिया अशीम कुमार ठाकुर तथा कोरियापट्टी के प्रधान कलीमुद्दीन का कहना है कि जिम सिखाने के लिए जिस तरह का कमरा चाहिए उस तरह का कमरा विद्यालय को उपलब्ध नहीं है। जिस कमरा में यह सामग्री रखी गई है वह सामान से ही भरा पड़ा है।
बात में सच्चाई भी है, विद्यालय को एक भी तो ऐसा कमरा होना चाहिए जहां 5 से 10 की संख्या में बच्चे जाकर जिम कर सकें। जिस कमरे में जिम की सामग्री रखी गई है वहां पैर रखने की भी जगह नहीं है।