टेंट मालिकों का दर्द::::::नहीं मिल रहा कोई भाड़ेदार, कैसे चलेगा घर-परिवार
संवाद सूत्र सरायगढ़ (सुपौल) कोविड-19 के संक्रमण को देखते हुए सरकार ने दशहरा मेला के
संवाद सूत्र, सरायगढ़ (सुपौल): कोविड-19 के संक्रमण को देखते हुए सरकार ने दशहरा मेला के दौरान कहीं भी पंडाल लगाने का आदेश नहीं दिया है। विजयादशमी पूजा में इस बार मेला नहीं लगेगा इस कारण मेला आयोजकों द्वारा भाड़े पर टेंट नहीं लिया जा रहा है। अब तक के मेला में मेला मालिकों द्वारा पहले टेंट और जेनरेटर की व्यवस्था की जाती थी और इसके लिए टेंट मालिकों को सामान के अनुसार राशि दिया करते थे। विजयादशमी मेला में लगातार 10 दिनों तक टेंट मालिक अपना सामान मेला स्थल पर रखते थे और उससे काफी आमदनी होती थी। लेकिन इस बार ऐसा कुछ नहीं होने जा रहा है और इससे टेंट मालिक काफी परेशान हैं। प्रखंड क्षेत्र के टेंट मालिक संजय कुमार मेहता, संजीव कुमार, जयप्रकाश ठाकुर, पप्पू कुमार, संजय कुमार यादव, प्रमोद कुमार सहित अन्य ने बताया कि दशहरा जैसे महत्वपूर्ण मेला में वह सब बेरोजगार हो गए हैं। बताया कि मेला में उन सबों को जो कमाई होती थी उसे कई माह का खर्च पूरा होता था, लेकिन इस बार सरकारी व्यवस्था ने उन सबके रोजगार पर पानी फेर दिया है। टेंट मालिक संजय कुमार मेहता ने कहा कि मेला को देखते हुए उन्होंने एक लाख से अधिक का सामान खरीद किया था ताकि लॉकडाउन के दरम्यान हुई क्षति की कुछ पूर्ति हो जाए। जब से यह सूचना मिली कि दशहरा मेला के दौरान कहीं भी पूजा पंडाल नहीं लगेगा और ना ही सांस्कृतिक कार्यक्रम होंगे तो मायूस हो गए हैं। बताया कि टेंट लगाना उनका मुख्य धंधा रहा है और पहली बार ऐसा हुआ है कि एक भी रुपए आने की संभावना नहीं दिखाई दे रही है। उन्होंने कहा कि इससे घर परिवार को चलाने में काफी कठिनाई होगी। यही हाल रहा तो टेंट का व्यवसाय छोड़ दूसरा व्यवसाय खोजना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि जब चुनाव के दौरान रैली हो सकती है तो ऐसे में दशहरा मेला पर रोक कहीं से भी उचित नहीं दिखाई देता है। मेला में कई लोगों को रोजगार मिलता है। उन्होंने कहा कि इस बार यदि मेला नहीं लगा तो घर की खर्च चलाने के लिए लोगों को बाहर पलायन करना पड़ सकता है।