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सामूहिक दुष्कर्म व पुलिस की कार्यशैली के खिलाफ राजद का आक्रोश मार्च

रविवार की सुबह 12 वीं के सैकड़ों छात्र सड़क पर उतर आए और सुपौल-सरायगढ़ हाइवे 327 ई को डिग्री कालेज के निकट जाम कर दिया और कालेज प्रशासन के विरुद्ध जमकर नारेबाजी करने लगे। छात्रों का कहना था कि वे इस सत्र में बारहवीं की बोर्ड देने वाले हैं। बोर्ड परीक्षा से पूर्व कॉलेज प्रशासन द्वारा हमलोगों की एक टेस्ट परीक्षा ली जानी है। लेकिन निधार्ररित समय में कॉलेज में न तो कोई उपलब्ध है और न ही कोई इस संदर्भ में कुछ बताने वाला है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 20 Oct 2019 06:28 PM (IST)Updated: Sun, 20 Oct 2019 06:28 PM (IST)
सामूहिक दुष्कर्म व पुलिस की कार्यशैली के खिलाफ राजद का आक्रोश मार्च
सामूहिक दुष्कर्म व पुलिस की कार्यशैली के खिलाफ राजद का आक्रोश मार्च

संवाद सूत्र राघोपुर (सुपौल): प्रतापगंज थाना क्षेत्र अंतर्गत मेला देखने जा रहे एक ही परिवार के एक नाबालिग एवं दो विवाहिता के साथ हुए सामूहिक दुष्कर्म एवं बचाव में आये नाबालिग की बड़ी बहन की गोली मारकर हत्या, लूटपाट जैसे जघन्य अपराध एवं घटना के बाद पुलिसिया कार्रवाई के विरोध में जिला छात्र राजद अध्यक्ष प्रवेश प्रवीण के नेतृत्व में राघोपुर प्रखंड राजद कार्यकर्ताओं ने गणपतगंज में कैंडल जला कर आक्रोश मार्च निकाला। आयोजित आक्रोश मार्च अवर निबंधन कार्यालय से निकलकर गोलबाजार,धरहारा रोड,राघोपुर रोड एवं पिपरा रोड होते हुए पुन: अवर निबंधन कार्यालय में समाप्त होकर सभा में तब्दील हो गया । इस मार्च के दौरान पुलिस प्रशासन हाय हाय, राघोपुर पुलिस मुर्दाबाद, मुख्यमंत्री मुर्दाबाद, पीड़िता को न्याय दो आदि नारे लगाए गए। सभा को संबोधित करते वक्ताओं ने कहा कि आये दिन पुलिस की उदासीनता एवं मनमर्जी चरम पर है। प्रदेश में कानून नाम की कोई चीज नही रह गई है। चारों ओर अराजकता की स्थिति है। बेटियां सुरक्षित नहीं, सरकारी दफ्तर में लूट खसोट मचा है और सरकार सुशासन का डंका पीट रही है। वक्ताओं ने कहा कि दुर्गा पूजा मेला देखने जा रहे परिजनों के साथ भेंगा धार के समीप जघन्य अपराध सामूहिक दुष्कर्म जैसी वारदात के बावजूद 24 घंटे बाद पीएलभी के प्रयास पर प्राथमिकी दर्ज होना इस बात का सबूत है। पुलिस की लापरवाही से पीड़िता दो थानों की लड़ाई के चक्कर में दिन भर कराहती रही, वहीं राघोपुर पुलिस कार्रवाई के बदले पीड़िता को उलझाकर लोक लज्जा एवं अदालत का चक्कर काटने का भय दिखाकर बयान बदलने में लगा रहा। कहा कि अधिकारी ऐसे दोषी पुलिस कर्मी पर दिखावे की कार्रवाई नही करें बल्कि नौकरी से बर्खास्त करे ताकि आने वाले समय मे इस तरह की घटनाओं से पुलिस कर्मी सबक ले सके। कहा कि इस घटना में संलिप्त अपराधी को जब तक फांसी की स•ा नहीं दी जाती है और पीड़िता को उचित न्याय नहीं मिलता तब तक यह आंदोलन चलता रहेगा। अगर अपराधियों को फांसी की स•ा नहीं हुई तो यह आक्रोश उग्र आंदोलन का रूप ले लेगी। मौके पर प्रदेश महासचिव महिला प्रकोष्ठ कुमारी मधु,राजेन्द्र यादव,मुस्तुफा राइन, रोजित साफी, राजेश यादव,चन्देश्वरी पासवान,बुद्धदेव रॉय, महेंद्र सिंह,मो.मौसिम,मुन्ना रॉय,आनंद यादव,अंकित यादव,मदन यादव,अश्विनी सिंह,आशीष बाबू कल्याण,पुरुषोत्तम राज,शुभम रॉय,ओम यादव,प्रणव चौधरी व अन्य लोग मौजूद थे।

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