चिट फंड कंपनी का सहायक प्रबंधक गिरफ्तार
शहर के पॉश इलाके में फर्जी नन बैंकिग के नाम पर करोड़ों रुपए गबन करने का मामला प्रकाश में आया है।
शिवहर। शहर के पॉश इलाके में फर्जी नन बैंकिग के नाम पर करोड़ों रुपए गबन करने का मामला प्रकाश में आया है। वहीं कंपनी के सहायक प्रबंधक संजय कुमार राय को पुलिस ने तब धर दबोचा जब वह खाताधारकों से संबंधित अभिलेख लेकर भागने की फिराक में था। पकड़ा गया अभियुक्त संजय कुमार राय पूर्वी चंपारण जिले के मेहसी थानांतर्गत रंगरेज छपरा निवासी रामलगन राय का पुत्र है। इस बाबत एसपी संतोष कुमार के हवाले से बताया गया है कि शनिवार को नपं वार्ड 8 निवासी रुबिया खातून ने लिखित आवेदन दिया था कि उक्त सोवेरॉन मल्टीपर्पस सोसायटी नामक नन बैंकिग में उसने आठ लाख रुपये जमा कराए। जिसकी परिपक्वता अवधि बीत जाने के बाद भी राशि का भुगतान नहीं किया जा रहा है। संदेह जताया कि उक्त कंपनी जिसका प्रधान कार्यालय कोलकाता में है भागने की फिराक में है। एसपी श्री कुमार ने अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी राकेश कुमार के नेतृत्व में तत्क्षण टीम गठित कर जांच के काम पर लगा दिया। आशंका निर्मूल साबित नहीं हुई। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए उक्त चिट फंड कंपनी के सहायक प्रबंधक संजय कुमार राय को उस वक्त दबोच लिया जब वह उक्त कंपनी में जमा ग्राहकों के कागजात लेकर फरार होने ही वाला था। एसपी ने बताया कि अब तक 16 खाताधारकों ने अपने कागजात जमा किए हैं जबकि आशंका जताई जा रही है कि ऐसे सैंकड़ों लोगों से करोड़ों रुपए की धनराशि जमा की गई है। खाताधारियों की मानें तो उक्त कंपनी के मुख्य शाखा प्रबंधक संजय श्रीवास्तव ने लोगों को जमा धन पर आकर्षक ब्याज राशि देने की लालच देकर खाता खुलवाया। शुरुआत में लाभुकों को ब्याज की राशि का भुगतान भी किया गया इससे हमलोगों को भी भरोसा हो गया कि यह कंपनी फर्जी नहीं है कितु बाद में किसी को सूद की राशि नहीं दी गई। वहीं जब जमा धन एवं परिपक्वता राशि की मांग की जाने लगी तो बहानेबाजी शुरू कर दी। वहीं उक्त शाखा भी बंद कर दी गई। सनद रहे उक्त नन बैंकिग वर्ष 2011 से जिला मुख्यालय स्थित अतिथि भवन के सामने स्थित एक भवन में चल रहा था जो इस बात की ओर इशारा करता है कि इसमें शामिल लोग बेहद निर्भीक एवं शातिर होंगे। एसपी संतोष कुमार ने बताया कि गिरफ्तार सहायक प्रबंधक को न्यायिक हिरासत में भेजा जा रहा है। वहीं उक्त कथित नन बैंकिग के प्रबंधक, एजेंट सहित अन्य की पहचान कर अग्रेतर कार्रवाई एवं उसकी गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है।