महंगी दवा खरीदने को विवश हैं मरीज
सदर अस्पताल स्थित जेनेरिक दवा दुकान वर्षो पहले अनियमितता की शिकायत मिलने पर बंद कर दी गई थी।
छपरा। सदर अस्पताल स्थित जेनेरिक दवा दुकान वर्षो पहले अनियमितता की शिकायत मिलने पर बंद तो करा दी गई थी, लेकिन अब तक नई दुकान नहीं खोली गई। सदर अस्पताल के मरीजों को सस्ती दवा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से आठ वर्ष ओपीडी के सामने राज्य स्वास्थ्य समिति के निर्देश पर जेनेरिक दवा दुकान खोली गई थी। सदर अस्पताल की सूची में नहीं रहने वाली दवा भी जेनेरिक काउंटर पर उपलब्ध होती थी। सदर अस्पताल परिसर में खुली जेनेरिक दवा दुकान एक वर्ष से भी कम समय में बंद हो गई। आठ साल बितने के बाद बंद दवा दुकान को खुलवाने के लिए किसी सिविल सर्जन ने भी पहल नहीं। फिलहाल जेनरिक दवा दुकान को एनजीओ के द्वारा रसोई घर के रूप में प्रयोग किया जा रहा है।
जेनेरिक दवा दुकान खोले जाने के लिए पूर्व में ही एक आवेदन राज्य स्वास्थ्य समिति को भेजा जा गया है। अनुमति मिलने के बाद दुकान खोली जाएगी।
डॉ. माधवेश्वर झा, सिविल सर्जन, छपरा