मामा से मिलने गया था महबूब, मिली मौत
सिघिया प्रखंड का ब्रह्मापुर गांव। 100 से ज्यादा परिवार। सबकी कमाई औसत से काफी नीचे।
09एसएएम 21 व 22
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- ब्रह्मापुर के दो युवकों की हादसे में हो गई है मौत
- घटना के बाद सदमे में है पूरा गांव
समस्तीपुर । सिघिया प्रखंड का ब्रह्मापुर गांव। 100 से ज्यादा परिवार। सबकी कमाई औसत से काफी नीचे। यही कारण है कि यहां के अधिकतर घरों के युवक दिल्ली, पंजाब या अन्य बड़े शहरों में कमाने चले गए हैं। रविवार को जैसे ही दिल्ली की घटना की सूचना मिली, कोहराम मच गया। सोमवार को लोग सदमे में रहे। गांव में घुसने पर चारों को मातमी सन्नाटा। दैनिक जागरण की टीम जब गांव में पहुंची तो लोगों की भीड़ जुट गई। हर कोई घटना के बारे में जानना-समझना चाहता है। गांव के चौराहे पर मिले लोग बताते हैं कि मो. इदरीश के बेटे महबूब की जलकर मौत हो गई। हम उनके घर पहुंचते हैं। बात करने की कोशिश होती है। पर, मुंह से शब्द निकलते ही वे फफक पड़ते हैं। घर-परिवार के लोग सांत्वना देते हैं। कुछ संभलते हैं। बताते हैं कि अभी तो 17 साल का था महबूब। दो महीना पहले गया था। वह तो फैक्ट्री में काम भी नहीं करता था। उसका मामा मो. बबलू काम करता था। उसी से मिलने गया था। रात हो गई तो वहीं ठहर गया। होनी को कौन टाल सकता। मौत उसे खींच ले गई थी। इदरीश मजदूरी कर घर-परिवार चलाते हैं। बेटे की मौत के बाद बेसुध हैं।
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सहमत की इसी साल शादी करने की थी तैयारी
गांव में गमगीन माहौल है। सबकी आंखें नम हैं। हम बढ़ते हैं। महबूब के पिता इदरीश बेटे के गम के सहारे पीछे अकेले छुट जाते हैं। आगे बढ़ने पर मो. एनुल का घर मिलता है। अग्निकांड में उनके बेटे सहमत की मौत हुई है। उसकी उम्र 18 साल थी। उसके तीन भाई और एक बहन है। दशहरा के समय घर आया था। इसी महीने उसकी शादी की तैयारी चल रही थी। पिता कहते हैं कि बेटे को सेहरा पहने देखना चाहता था, अब तो..। इतना कहते ही फफक पड़ते हैं। गांव के कुछ लोग उन्हें ऊपरवाले की दुहाई देकर समझाते हैं। लेकिन, उन्होंने जवान बेटे को खोया है, जख्म इतनी आसानी से नहीं भरनेवाले।