छठ पर्व को लेकर बाजार में रौनक, सजने लगी दुकान
शाहपुर पटोरी क्षेत्र में अब छठ की तैयारी जोड़ पकड़ने लगी है। घरों में एक ओर जहां पूजा की तैयारी में व्रती जुट गए हैं, वहीं बाजार की दुकानें भी सजने लगी है।
समस्तीपुर । शाहपुर पटोरी क्षेत्र में अब छठ की तैयारी जोड़ पकड़ने लगी है। घरों में एक ओर जहां पूजा की तैयारी में व्रती जुट गए हैं, वहीं बाजार की दुकानें भी सजने लगी है। बाहर से फलों का आना शुरू हो गया है। फलों की आढ़त में बाहर से केला, संतरा, अनानास, अनार, सेब, पानी सिघारा, गागर, नारियल, ईख, हल्दी, मूली, अदरक आदि की दुकाने सजने लगी हैं। घरों में गेहूं चुनने तथा मिट्टी का चूल्हा बनाने का काम शुरू कर दिया गया है। लोग अपने घरों की सफाई के अतिरिक्त पूजन सामग्री के भंडारण तथा नये बर्तनों की खरीदारी शुरू कर दी है। बाजारों में लोगों की भीड़ काफी अधिक बढ़ गई है। शहर में जाम की स्थिति उत्पन्न हो गई है। बाहर से आने लगे परदेसी
छठ को ले पूरे क्षेत्र में परदेसियों की भीड़ बढ़ गई है। बाहर रहकर काम करने वाले लोग पर्व के अवसर पर अब घर लौटने लगे हैं। अच्छे पद पर काम करने वाले हो या बाहर रहकर मजदूरी करने वाले, सभी अपने-अपने घर आने लगे हैं। जिससे ट्रेनों में लोगों की भीड़ बढ़ गई है। शाहपुर पटोरी रेलवे स्टेशन पर बाहर से उतरने वाले यात्रियों की संख्या काफी अधिक हो जाने के कारण ऑटो तथा रिक्से वालों की कमी पड़ गई है। ज्ञात हो कि इस क्षेत्र के आसपास के लोग काफी अधिक संख्या में दिल्ली, कोलकाता, पंजाब, हरियाणा, मुम्बई आदि क्षेत्रों में काम करते हैं। ऐसे मजदूरों की संख्या काफी अधिक है जो सिर्फ होली और छठ में ही अपने घर लौटते हैं। लिहाजा पर्व को लेकर यात्रियों की भीड़ बढ़ गई है। नवयुवक भिड़े घाटों की सफाई में
पटोरी प्रखंड के विभिन्न नदी, तालाबों पर स्थित छठ घाटों की सफाई में उस क्षेत्र के नवयुवक भिड़ गये हैं। वायां नदी के तट पर स्थित हसनपुर सूरत मठ घाट, राधे घाट, सिनेमा चैक घाट, लोदीपुर घाट, तिवारी पुल घाट, बहादुरपुर पटोरी घाट, ताराधमौन घाट, शिउरा घाट, चकसाहो घाट के अतिरिक्त विभिन्न स्थलों पर स्थित तालाबों, गंगा घाटों की सफाई भी लोगों ने शुरू कर दी है। लोगों का कहना था कि ग्राम पंचायत के स्तर से राशि रहने के बावजूद घाटों की सफाई नहीं करायी गई। स्थापित होगी सूर्य देव की प्रतिमा
सिनेमा चौक पर स्थानीय लोगों के प्रयास से प्रत्येक वर्ष की तरह आकर्षक सूर्यदेव की प्रतिमा स्थापित की जा रही है। यह प्रतिमा इस वर्ष छठ पूजा में मुख्य आकर्षण का केन्द्र बनेगा। इसके अलावे वाया नदी के लोदीपुर घाट तथा हसनपुर सूरत मठ घाट पर पानी के बीच में अराध्य देव सूर्य की प्रतिमा स्थपित की जा रही है। सात घोड़े पर सवार भागवान सूर्य की प्रतिमा प्रत्येक छठ में आकर्षण और श्रद्धा का केन्द्र बना रहता है। दोनो स्थलों पर युवाओं की पहल से पिछले कई वर्षों से यहां प्रतिमा स्थापित की जाती है। युवकों के द्वारा चंदा एकत्र कर घाटों पर प्रकाश की व्यवस्था भी की जा रही है। कीमते आसमान पर, बढ़ी भीड़
आसमान छूती कीमतों के बीच व्रतियों के द्वारा अराध्य देव सूर्य की पूजा के लिए खरीददारी जारी है। पूजन सामग्री के अतिरिक्त बर्तन की खरीददारी भी व्रतियों के द्वारा किया जा रहा है। फूल और पीतल की बर्तन की दुकानों में भी भीड़ बढ़ गई है। साथ ही बांस के बने सूप और दौरा की खरीद भी जोर-शोर से चल रही है। हालाकि पिछले वर्ष की तुलना में इन समानों की कीमत काफी अधिक है। किन्तु आस्था के सामने कीमतों का कोई महत्व नहीं होता। नतीजा यह है कि दुकानों पर काफी अधिक भीड़ उमड़ आयी है तथा यातायात कठिनाईयों से लोगों जूझना पड़ रहा है। नदी में गंदगी के कारण अब घर पर छठ करने की प्रचलन बढ़ा नदी व तालाबों में गंदगी तथा मल-मूत्र रहने के कारण अब लोग अपने-अपने घरों पर घाट बनवाकर छठ करने लगे हैं। प्रशासन तथा प्रतिनिधियों की उदासीनता और नदी में शहरी क्षेत्र के लोगों के द्वारा बड़े पैमान पर मल-मूत्र बहाने के बाद लोगों को वाया नदी में छठ करना मुश्किल हो गया है। पवित्रता को ध्यान में रखते हुए लोग अब छठ अपने-अपने दरवाजे या छत पर करेंगे। इस प्रकार सामूहिक रूप से छठ पर्व मनाने की परम्परा भी अब घटती जा रही है। बाजार क्षेत्र के जितने भी मकान वाया नदी के किनारे अवस्थित हैं उनका नाला इसी नदी में बहता है और तो और लोगों के शौचालय की टंकी व पेशाब घर का नाला सीधे वाया नदी में बहाया जाता है। ऐसी स्थिति में नदी के पानी में पेशाब और पाखाना हमेशा देखा जा सकता है। लोगों ने अपने स्तर से घाटों की सफाई शुरू कर दी है। प्रशासन के द्वारा निर्देश के बावजूद संबंधित क्षेत्र के मुखिया के द्वारा अबतक घाटों की सफाई शुरू नहीं कराई गई है। क्षेत्र के लोग पूरे बाजार का कूड़ा इसी नदी के किनारे फेंकते है। मंहगाई पर भारी पड़ी आस्था, छठ को ले दुकानों में बढ़ी भीड़ छठ पूजा के समीप आते ही बाजारों में व्रतियों तथा लोगों की भीड़ काफी अधिक बढ़ गई है। मंहगाई बढ़ने के बावजूद लोगों की आस्था में कोई कमी दिखाई नहीं दे रही है। बाजार विभिन्न प्रकार के फलों और पूजन सामग्रियों से सज गये है। पटोरी बाजार के सोमवारी हाट, स्टेशन बाजार, गोला रोड, पुरानी बाजार आदि क्षेत्रों में खरीददारों की भीड़ विभिन्न दुकानों में बढ़ गई है। पिछले वर्ष की तुलना में सामानों की कीमत में अप्रत्याशित वृद्धि के बावजूद खरीददारी में कोई कमी नहीं आई है। पूजन सामग्री से दुकाने सज गई है। पिछले दो वर्षों की तुलना में सामानों की कीमत में लगभग 70 से 80 प्रतिशत की वृद्धि हो चुकी है। बाजार में समान की कीमत (रुपया में) सामान 2016 2017 2018 दौड़ी 40 50 90 सूप 30 45 60 ईख 6 8 10 केला 400 प्रति घौंद 600 प्रति घौंद 700 प्रति घौंद गागर नींबू 8 10 20 सेब 60 80 120 नारंगी 50 60 80 ¨सघारा 40 70 90 अलुआ 25 40 50 सुथनी 25 40 60 मूली 8 10 20 नारियल 25 30 40 अनार 90 120 140
आदी 50 70 100
हल्दी 30 50 80
गुड़ 30 40 50
घी 350 प्रति किग्रा 430 प्रति किग्रा 470 प्रति किलो