Bihar Diwas: बिहार दिवस पर सजी तलत अजीज की महफिल, गजल सुन मंत्रमुग्ध हुए श्रोता
तलत अजीज ने गालिब की मीर की गजल मैं गा चुका बहुत अब किसको गुन गुनाऊं तुझे देखने के बाद... पेश कर श्रोताओं का ध्यान अपनी ओर आकर्षित किया। मंच पर गोपालगंज से आई छात्रा श्रुति वर्मा ने गजल गायक के साथ प्रस्तुति दी।
जासं, पटना। मशहूर गजल गायक तलत अजीज ने गुरुवार को अपनी गायिकी से पटनावासियों का दिल जीत लिया।
बिहार दिवस के दूसरे दिन गुरुवार को श्रीकृष्ण मेमोरियल हाल पर गजल गायक को सुनने के लिए श्रोता बेसब्री से इंतजार कर रहे थे।
बिहार दिवस पर तलत अजीज की महफिल में एक से बढ़कर एक गजलों को सुन श्रोता मंत्रमुग्ध हुए।
तलत अजीज ने गालिब की मीर की गजल मैं गा चुका बहुत, अब किसको गुन गुनाऊं तुझे देखने के बाद... पेश कर श्रोताओं का ध्यान अपनी ओर आकर्षित किया।
वहीं, इसके बाद ये जमीं चांद से बेहतर नजर आती है हमें, याद तेरी कभी दस्तक... आज जाने की जिद न करो...कभी ख्वाब में या ख्याल में, कभी जिंदगानी की धार पे, मैं अधूरा सा एक गीत हूं.. फिर छिड़ी रात बात फूलों की, रात है या बारात फूलों की... पेश कर वाहवाही लूटी।
वहीं, मंच पर गोपालगंज से आई छात्रा श्रुति वर्मा ने गजल गायक के साथ प्रस्तुति दी। गीतों को जीवंत बनाने में संगत कलाकारों ने योगदान दिया।
संगत कलाकारों में वायलिन पर इकबाल वारसी, तबले पर पंडित जीते शंकर, ढोलक पर पंडित देवेंद्र, की-बोर्ड पर अजय सोनी, गिटार पर सुशांत शर्मा ने संगत किया।
पटना जैसे श्रोता कहीं नहीं
मंच पर अपनी प्रस्तुतियों से सभी का दिल जीतने वाले तलत अजीज ने कहा कि पटना जैसे श्रोता देश में कहीं नहीं हैं। यहां के लोगों में कला संस्कृति के प्रति काफी प्रेम है।
अजीज ने कहा कि पटना से मेरा पुराना संबंध रहा है। दशहरा के मौके पर यहां रात भर आयोजन होते थे। लोग बड़े चाव से कार्यक्रम का आनंद उठाते थे।
देश-विदेश में कई आयोजन हुए लेकिन पटना में प्रस्तुति देने का अपना ही मजा है। इस अवसर पर शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह समेत अन्य पदाधिकारी मौजूद थे।