बिहार के गोविंद भोग चावल से तैयार हुआ अयोध्या के भगवान श्रीराम का प्रसाद
रामनवमी के मौके पर भगवान श्रीराम की पूजा मंदिर के पुजारियों ने पूरे विधि-विधान के साथ की।
पटना, जेएनएन। सियाराम जयराम जय-जय राम। श्रीराम चंद्र कृपालु भजमन...यह मंत्र रामनवमी के मौके पर शहर के प्रमुख मंदिरों के साथ घरों में गूंजते रहे। रामनवमी के मौके पर भगवान श्रीराम की पूजा मंदिर के पुजारियों ने पूरे विधि-विधान के साथ की। वहीं अयोध्या में रामलला की पूजा विशेष श्रृंगार कर हुई। पूजा के दौरान रामलला को भोग भी लगाया गया। रामलला का भोग बिहार के कैमूर जिले के प्रसिद्ध गोविंद भोग चावल से तैयार हलवा व लड्डू से कराया गया।
राम लला के भोग में बिहार का चावल
इसकी जानकारी देते हुए महावीर मंदिर पटना के सचिव आचार्य किशोर कुणाल ने कहा कि रामनवमी के मौके पर रामलला को भोग लगाने के बिहार के चावल का प्रयोग किया गया। यह मंदिर के लिए बड़ी सौभाग्य की बात है। आचार्य किशोर ने कहा कि अयोध्या में राम रसोई की शुरुआत करने का भी जिम्मा मंदिर को मिला था। राम रसोई आरंभ करने को लेकर बिहार के गोविंद भोग और कतरनी चावल यहां से अयोध्या भेजा गया था।
बिहार के लिए बड़ी बात
आचार्य किशोर कुणाल ने कहा कि राम रसोई में प्रसाद बनाने को लेकर तिरूपति के कारीगर जुटे रहे। वहीं पटना के हनुमान मंदिर में तिरूपति के ही कारीगरों द्वारा नैवेद्यम प्रसाद बनाने की व्यवस्था की। उन्होंने कहा कि कोर्ट के फैसले आने के बाद अयोध्या में रामलला को रामनवमी के मौके पर यहां के चावल से तैयार प्रसाद को भोग के रूप में लगाया है। जो बिहार के भक्तों के लिए बड़ी बात है। आचार्य कुणाल ने कहा कि रामलला मंदिर में पांच हजार पैकेट प्रसाद कारीगरों द्वारा रामनवमी पर तैयार किया गया। जिसमें 25 सौ पैकेट हलवा और 25 सौ पैकेट लड्डू का पैकेट को तैयार कर सुरक्षाकर्मियों और कोरोना के बचाव में लगे राहत पहुंचाने में लगे लोगों के बीच वितरित किया गया। आचार्य ने कहा कि ये हमारे लिए सौभाग्य की बात है।