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बिहार: पीएम मोदी ने बाढ़ से हुई तबाही देखी, दी 500 करोड़ की तत्काल सहायता

बिहार में बाढ़ से हुए नुकसान की जानकारी लेने और बाढ़ पीड़ितों का दुख दर्द जानने पीएम मोदी आज पूर्णिया पहुंचे। उन्होंने चार जिलों का सर्वेक्षण किया और बैठक कर पूरी जानकारी ली।

By Kajal KumariEdited By: Published: Sat, 26 Aug 2017 08:13 AM (IST)Updated: Sat, 26 Aug 2017 10:13 PM (IST)
बिहार: पीएम मोदी ने बाढ़ से हुई तबाही देखी, दी 500 करोड़ की तत्काल सहायता
बिहार: पीएम मोदी ने बाढ़ से हुई तबाही देखी, दी 500 करोड़ की तत्काल सहायता

पूर्णिया [जेएनएन]। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज बिहार के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण किया।समीक्षा के पश्चात प्रधानमंत्री ने राज्य को हर संभव सहायता देने का आश्वासन दिया। उन्होंने 500 करोड़ रुपए की तुरंत सहायता की भी घोषणा की। 

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प्रधानमंत्री ने नुकसान के आकलन के लिए तुरंत ही एक केंद्रीय टीम भेजने का भी आश्वासन दिया है। बाढ़ से प्रभावित सड़कों की मरम्मत के लिए सड़क एवं परिवहन मंत्रालय को उपयुक्त कार्रवाई करने का भी निर्देश दिया गया है। बाढ़ से प्रभावित विद्युत् इंफ्रास्ट्रक्चर की शीघ्र बहाली के लिए भी केन्द्र, राज्य सरकार की हर संभव मदद करेगा।

प्रधान मंत्री राहत कोष से प्रत्येक मृतक के परिवार को 2 लाख रुपए एवं गंभीर रूप से घायल व्यक्ति को 50 हजार रुपए की दर से सहायता दी जाएगी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को सीमांचल के बाढ़ प्रभावित जिलों का हाल जानने और बाढ़ पीड़ितों की जानकारी लेने दिल्ली से पूर्णिया के चूनागढ़ एयरबेस पहुंचे। पूर्णिया पहुंचने पर सीएम नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार सुशील मोदी ने पीएम की अगुवाई की।

पीएम मोदी ने हेलीकॉप्टर से बाढ़ प्रभावित पूर्णिया, अररिया, कटिहार और किशनगंज इलाके का हवाई सर्वेक्षण किया और बाढ़ प्रभावित इलाकों की तबाही देखी।  हवाई सर्वेक्षण के बाद पीएम मोदी मुख्यमंत्री के साथ चूनापुर एयरबेस के कांफ्रेंस हॉल में एक बैठक की जिसपर बाढ़ पीड़ितों की मदद की गहन समीक्षा की गई।बैठक करीब पैंतालिस मिनट तक चली। बैठक में केंद्र व राज्य सरकार के आला अधिकारी भी मौजूद रहे।

सर्वे के बाद आयोजित बैठक में बाढ़ की समीक्षा करने के बाद पीएम मोदी ने राज्य के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों के लिए पांच सौ करोड़ की सहायता राशि देने का एलान किया। साथ ही उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत और बचाव कार्य के लिए भी हरसंभव सहायता करेगी और बाढ़ से हुए नुकसान के आकलन के लिए केंद्रीय टीम भी बिहार भेजी जाएगी।

प्रधानमंत्री के साथ हवाई सर्वेक्षण में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी भी हेलीकॉप्टर में मौजूद रहे। सीएम नीतीश ने प्रधानमंत्री को सर्वेक्षण के दौरान एक-एक इलाके की पूरी जानकारी दी।

बिहार के एक दिवसीय दौरे को लेकर बिहार के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों की जनता को काफी उम्मीद है और पीएम ने जिस तरह पैंतालिस मिनट तक बैठक की और बाढ़ की पूरी जानकारी ली इससे लगता है कि राज्य जो हर साल बाढ़ की विभीषिका झेलता है उसके दिन जल्द बहुरेंगे और शायद अगले साल बाढ़ का इतना नुकसान ना हो।

बै ठक के बाद प्रधानमंत्री पूर्णिया से दिल्ली के लिए रवाना हो गए। इससे पहले पीएम की यात्रा के सिलसिले में वरिष्ठ अधिकारियों की टीम शुक्रवार की दोपहर में ही पूर्णिया के लिए रवाना हो गई थी। मुख्यमंत्री, उप मुख्यमंत्री और लघु सिंचाई मंत्री दिनेश चंद यादव शनिवार को सुबह आठ बजे हेलीकॉप्टर से पूर्णिया पहुंचे थे।  

#WATCH PM Modi reaches Purnia, received by CM Nitish Kumar& Dy CM Sushil Modi. PM will conduct aerial survey of flood-hit areas #BiharFloodspic.twitter.com/I2GVTSopvm

— ANI (@ANI) August 26, 2017

सुशील मोदी ने दिल्ली जाकर पीएम को दी थी बाढ़ की जानकारी

गौरतलब है कि भीषण बाढ़ ने राज्य के एक करोड़ से भी ज्यादा लोगों को प्रभावित किया है। बीते सोमवार शाम को दिल्ली के भाजपा कार्यालय में आयोजित मुख्यमंत्रियों और उप-मुख्यमंत्रियों की बैठक में सुशील मोदी शामिल हुए थे और उनसे पीएम ने बिहार के बाढ़ बारे में बात की थी।

इस बैठक में सुशील मोदी ने बाढ़ राहत में सहायता देने के लिए पीएम को धन्यवाद दिया था। पीएम गुजरात और असम के बाढ़ प्रभावित इलाकों का दौरा कर चुके हैं।

पीएम मोदी ने ट्वीट कर इसकी जानकारी दी कि आज बिहार में बाढ़ की स्थिति जानने पहुंचा हूं, बिहार में बाढ़ की स्थिति चिंताजनक है।

 In Bihar today to review the situation arising due to the floods in the state.

— Narendra Modi (@narendramodi) August 26, 2017

शुक्रवार को पटना में हुई थी उच्चस्तरीय बैठक

प्रधानमंत्री के साथ उच्चस्तरीय बैठक के पहले शुक्रवार की सुबह मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने विभिन्न विभागों के आला अधिकारियों के साथ बैठक की। सभी विभागों के प्रधान सचिवों ने अपने-अपने महकमे को हुए नुकसान से संबंधित एक आरंभिक प्रतिवेदन मुख्यमंत्री को सौंपा। मुख्यमंत्री के स्तर पर प्रतिवेदन के विभिन्न बिंदुओं पर चर्चा हुई।  

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार अकेले आपदा प्रबंधन विभाग ने 3500 करोड़ रुपये की जरूरत का आकलन किया है। पथ निर्माण विभाग ने 215 सड़कों को हुए नुकसान के आधार पर 780 करोड़ रुपये की आवश्यकता का आकलन किया है।

कृषि विभाग ने 2100 करोड़, पशुपालन ने 1500 करोड़ और ग्रामीण कार्य विभाग ने 1200 करोड़ रुपये का आकलन नुकसान की भरपाई के लिए किया है। आकलन बाद में संशोधित भी किए जा सकते हैं। प्रधानमंत्री को एक प्रेजेंटेशन के माध्यम से सीमांचल में फ्लैश फ्लड के कारण हुए नुकसान की जानकारी दी जाएगी ।

सुरक्षा व्यवस्था के थे कड़े इंतजाम

बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण के लिए शनिवार को पूर्णिया पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर पुलिस-प्रशासन अलर्ट पर रहा। प्रधानमंत्री चूनापुर हवाई अड्डा पर उतरे तथा वहीं से हवाई सर्वे के लिए निकल गए। स्थानीय स्तर पर सुरक्षा व्यवस्था के लिए पुलिस पदाधिकारी और पुलिस बल की प्रतिनियुक्ति की गई थी।

सुरक्षा में किसी तरह की सेंधमारी नहीं हो इसके लिए शुक्रवार को डीएम प्रदीप कुमार झा और एसपी निशांत कुमार तिवारी ने समाहरणालय सभागार में संयुक्त बैठक कर निर्देश जारी किया था। बैठक में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर सभी पहलुओं पर चर्चा की गई थी। सभी व्यक्तियों की गतिविधि पर कड़ी नजर रखने को कहा गया था।

किसी लावारिस वस्तु दिखने पर अविलंब उसे सुरक्षा घेरे में लेकर वरीय पदाधिकारी को सूचित करने का निर्देश दिया गया था। सदर अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी एवं शहरी क्षेत्र के सभी थानाध्यक्ष शहर के सभी होटल, लॉज, बस अड्डा एवं अस्पताल में सघन जांच की गई। 


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