बिहार में श्रमिक स्पेशल ट्रेनों में एक तरफ मौत, दूसरी तरफ जीवन की किलकारी, जानिए
एक तरफ जहां श्रमिक स्पेशल ट्रेन से बिहार लौट रहे कुछ मजदूरों की मौत की घटनाएं सामने आ रही हैं तो वहीं इसी श्रमिक स्पेशल ट्रेन से सफर कर रही महिला ने रास्ते में बच्ची को जन्म दिया।
शेखपुरा, जेएनएन। बिहार के गया-क्यूल रेल लाइन से श्रमिक स्पेशल ट्रेन के गुजरने के दौरान लुधियाना से कहलगांव जा रही एक महिला को अचानक प्रसव पीड़ा शुरू हो गई। उसके पति ने ट्वीट से इसकी जानकारी रेलमंत्री को दी, जिसके बाद शेखपुरा जिलाधिकारी को रेलवे विभाग से सूचना मिली कि ट्रेन में महिला को प्रसव पीड़ा हो रही है। महिला को रेल से एंबुलेंस द्वारा अस्पताल लाया गया, जहां उसका प्रसव हुआ। महिला ने एक बच्ची को जन्म दिया है।
महिला ने गुरुवार सुबह 7.30 में एक बच्ची को जन्म दिया। फिलहाल बच्ची औऱ उसकी मां पूरी तरह सुरक्षित हैं। जानकारी के मुताबिक आशा कुमारी नामक यह महिला श्रमिक स्पेशल ट्रेन नंबर 04610 के एस-7 कोच में यात्रा कर रही थी और इसी दौरान उसे गया-क्यूल रेल लाइन के सिरारी रेलवे स्टेशन के पास प्रसव पीड़ा शुरू हो गई।
प्रवासियों की हो रही मौत पर विपक्ष ने रेलवे को बनाया निशाना
लॉकडाउन के दौरान विभिन्न ट्रेनों से प्रवासी मजदूरों के बिहार आने का सिलसिला लगातार जारी है। इस दौरान कई प्रवासी श्रमिकों की ट्रेन में यात्रा के दौरान मौत भी हो गई है। इस मुद्दे को लेकर विपक्ष लगातार केंद्र सरकार और रेलवे पर लापरवाही का आरोप लगा रहा है।
दरअसल, कोरोना संकट के कारण पूरे देश में लगभग दो महीनों से लॉकडाउन लागू है और इसी बीच राज्य सरकारों के अनुरोध पर रेलवे ने श्रमिक स्पेशल ट्रेन चलाने का फैसला किया, जिसके बाद इन ट्रेनों से बड़ी संख्या में देश के कई राज्यों में फंसे लोग अपने घर वापस लौट रहे हैं।
मुजफ्फरपुर में सामने आयी हृदय विदारक घटना
इसी बीच मुजफ्फरपुर से दिल को दहला देने वाली एक घटना सामने आयी है। रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म पर एक महिला का शव पड़ा था और उस मृत महिला का मासूम बच्चा अपनी मां को नींद से जगाने का प्रयास कर रहा था। रेलवे ने इन घटनाओं पर सफाई देते हुए कहा है कि इस तरह की अधिकतर मौतों के मामले में मृतक पहले से स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का सामना कर रहे थे।