डॉ. राणा के माध्यम से लालू लेते थे चारा घोटाले के रुपये
हजार करोड़ रुपये के चारा घोटाला का पैसा राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद को डॉक्टर आरके राणा के माध्यम से मिलता था।
पटना । हजार करोड़ रुपये के चारा घोटाला का पैसा राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद डॉक्टर आरके राणा के माध्यम से लेते थे। वहीं पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. जगन्नाथ मिश्रा को चारा घोटाले का पैसा एक बार 50 लाख तथा एक अन्य बार 25 लाख रुपये दिया गया था। घोटाले की राशि अनेक राजनीतिज्ञों को रांची स्थित पशुपालन विभाग के तत्कालीन संयुक्त निदेशक श्याम बिहारी सिन्हा के माध्यम से मिलती थी। उक्त बातें मंगलवार को चारा घोटाला में सीबीआइ के 56वें गवाह दीपेश चांडक ने जांच एजेंसी के विशेष न्यायाधीश देवराज त्रिपाठी की अदालत में अपनी गवाही के दौरान कहीं। इस मामले में लालू प्रसाद के खिलाफ बयान देने वाला वे दूसरे गवाह हैं।
चांडक चारा घोटाला के अनेक मामले में अभियुक्त हैं। वह सीबीआइ का गवाह बन गया है। कोलकाता आधारित पशु आहार का सप्लायर चांडक पशुपालन विभाग में पशु चारा सप्लाई करता था। इसकी गवाही अभी जारी है।
चांडक ने अदालत को जानकारी दी कि वह पशुपालन विभाग में पशु आहार मकई, चोकर आदि सप्लाई करता था। इसके लिये उसने एक मिल खोल रखी थी। वर्ष 1993 में सप्लाई का कुछ बकाया विभाग में रह गया। पेमेंट रुक गया था। तब पशुपालन विभाग के एक अधिकारी डॉ. विपिन प्रसाद के माध्यम से पशुपालन विभाग के संयुक्त निदेशक श्याम बिहारी सिन्हा से मिला। उन्होंने पेमेंट करा दिया। सिन्हा ने 1994 में पशुपालन विभाग के अनेक लोगों से परिचय कराया। इसके बाद मेरा धंधा चल पड़ा।
फिर मैं फर्जी अलॉटमेंट लेटर के आधार पर बगैर आहार सप्लाई किये फर्जी बिल के आधार पर रुपये निकलने लगा। उस रुपये में से 80 प्रतिशत रुपया विभाग के अधिकारियों को जाता था। फर्जी बिल बनाने और पास कराने में आरके दास, शशि कुमार, महेन्द्र प्रसाद आदि शामिल रहते थे। लालू यादव को चारा घोटाले का रुपया डॉ. आरके राणा के माध्यम से मिलता था। कोलकाता स्थित ताज बंगाल होटल में केएम प्रसाद, श्याम बिहारी सिन्हा आदि ठहरे थे। उस वक्त सिन्हा ने आरके राणा से बोला कि आपको (डॉक्टर राणा को) 15 करोड़ रुपये त्रिपुरारी मोहन देगा। फिर वह रुपये लालू प्रसाद को जाएगा। सप्लायर एमएस वेदी के माध्यम से पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्रा को भी रुपये मिलते थे। एक बार मिश्रा को 50 लाख फिर दूसरी बार 25 लाख रुपये मिले थे। जगदीश शर्मा को भी चारे घोटाला के रुपये मिलते थे।