लालू प्रसाद की बेटियों के लिए खास थी यह खुशी
यह शपथ ग्रहण समारोह कई मायनों में खास था। समारोह में लालू प्रसाद के साथ उनका पूरा परिवार मौजूद था। मुख्य मंच के ठीक नीचे वीआइपी गैलरी में लालू प्रसाद की बेटियां मौजूद थीं जिनके लिए अपने भाईयों का मंत्री पद के रुप में शपथ लेना खुशी की बात थी।
पटना [राजीव रंजन]। यह शपथ ग्रहण समारोह कई मायनों में खास था। राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद और उनके परिवार के लिए पिछले 10 वर्षों में यह पहला मौका था जब इस तरह के किसी कार्यक्रम में उनका पूरा कुनबा मौजूद था।
एक तरफ लालू प्रसाद और राबड़ी देवी के दोनों बेटे तेजप्रताप यादव व तेजस्वी प्रसाद यादव मुख्य मंच पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ पद और गोपनीयता की शपथ ले रहे थे तो दूसरी तरफ लालू प्रसाद और राबड़ी देवी देश की सत्ता को प्रभावित करती रही बड़ी राजनीतिक हस्तियों के साथ मंच साझा कर रहे थे।
मुख्य मंच के ठीक नीचे वीआइपी गैलरी में लालू प्रसाद की बेटियां और दामाद बड़ी शिद्दत से इस समारोह के एक-एक क्षण को अपने कैमरे में कैद कर रहे थे, मानो वक्त को आज गुजरने की इजाजत नहीं थी। इस वीआइपी गैलरी में लालू प्रसाद की बेटियां मीसा भारती, रोहिणी यादव, रागिनी यादव और सबसे छोटी बेटी राजलक्ष्मी अपने दोनों छोटे भाइयों को निहार रही थी।
राजलक्ष्मी के साथ उनके पति व सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव के सांसद पौत्र तेजप्रताप यादव भी थे। रोहिणी अपने साथ कैमरा लेकर आई थीं और वह मंच की तरफ निशाना कर अपने दोनों भाइयों की शपथ लेते तस्वीर खींच रही थीं। लालू प्रसाद का परिवार शपथ ग्रहण समारोह शुरू होने से करीब डेढ़ घंटे पहले ही गांधी मैदान पहुंच चुका था।
समारोह के दौरान नीतीश कुमार के शपथ लेने के बाद जैसे ही राज्यपाल के प्रधान सचिव बृजेश मेहरोत्रा ने तेजप्रताप यादव और तेजस्वी यादव का नाम लिया, लालू प्रसाद की बेटियों ने जमकर तालियां बजाई। हालांकि कुछ देर के लिए इस गैलरी में थोड़ी असहज स्थिति भी दिखी जब राज्यपाल ने तेजप्रताप यादव का उच्चारण सही नहीं होने के कारण उन्हें फिर से शपथ लेने को कहा।
यह मौका लालू प्रसाद और उनके परिवार के लिए खास था। क्योंकि सत्ता में रहकर लालू और राबड़ी के संघर्ष की साक्षी रही उनकी बेटियों के चेहरे पर विजयी के भाव थे। उनकी बेटियों ने वे दिन भी देखे हैं जब मां के हाथों में बिहार की सत्ता थी और पिता जेल में थे। उन्होंने अपनी उंगलियों से 'विक्टरीÓ का इशारा करके मीडिया को यह बताने कोशिश की कि यह जीत उनके लिए बहुत खास है।
इस शपथ ग्रहण समारोह में भले ही सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव नहीं थे, लेकिन लालू प्रसाद के छोटे दामाद व सपा सांसद तेजप्रताप यादव की उपस्थिति यह बताने के लिए काफी थी कि परिवार के स्तर पर सबकुछ ठीक-ठाक है। तेजप्रताप छठ के मौके पर ही पटना आए थे और शपथ ग्रहण समारोह के बाद वापस लखनऊ जाएंगे।