तालीम से दूर होंगी घर-समाज में फैली बुराइयां
धर्म व आस्था के नाम पर समाज में तेजी से पनपती और पांव पसारती बुराइयों को पहचानने पर जोर।
पटना सिटी। धर्म व आस्था के नाम पर समाज में तेजी से पनपती और पांव पसारती बुराइयों को पहचानने और उन्हें दूर करने की जरूरत है। कुछ लोगों की कोशिशों की फल-फूल रही यह बुराइयां इंसान और इंसानियत के लिए खतरनाक हैं। इंसान व समाज को बांटने तथा इस्लाम को बदनाम करने वाली हैं। तालीम हासिल कर इन बुराइयों से खुद बचने के साथ ही दूसरों को भी बचाया जा सकता है। यह बातें गुरुवार को तंजीम अहले सुन्नत जमात द्वारा पत्थर की मस्जिद रोड स्थित शाही दरबार में आयोजित राष्ट्रीय सेमिनार में शरीक हुए बिहार व कई राज्यों के इस्लामिक शिक्षाविदों ने कहीं।
मौलाना अब्दुल रज्जाक पैकर रिजवी और मौलाना मो. कमरुज्जमा मिस्बाही ने कार्यक्रम का संचालन किया। कारी मोहम्मद नेहाल ने कुरानशरीफ का पाठ किया। मोहम्मद शाकिर ने नात पेश किया। आलिमों ने मोहर्रम, चेहल्लुम तथा उर्स को लेकर समाज में फैलती जा रही बुराइयों से लोगों को अवगत कराया तथा दूर करने का आह्वान किया। सज्जादानशीं सैयद शाह मिस्बाहुल हक इमादी, सैयद शाह सैफुद्दीन फिरदौसी, सैयद रुकनुद्दीन चिश्ती, प्रोफेसर तलहा रिजवी बर्क, मुफ्ती मो. मतीउर्ररहमान, मो. अब्दुल मुबीन नुमानी कादरी, मौलाना सैयद अहमद रजा, मौलाना अब्दुल रज्जाक पैकर रिजवी समेत दो दर्जन से अधिक इस्लामिक शिक्षाविदों ने व्याख्यान दिया। कहा- मजार पर जाने से बचें औरतें
उन्होंने पैगम्बर मोहम्मद सल्लल्लाहो अलैहे वसल्लम तथा औलिया से मोहब्बत रखने और उनकी शिक्षा पर अमल करने को कहा। पड़ोसी का हक अदा करने, छोटे-बड़े की इज्जत करने, रिश्तेदारों व दोस्तों के साथ अच्छा व्यवहार करने, जरूरतमंदों की मदद करने, मजार पर औरतों को जाने से बचने, उर्स को मेला का रूप देने जैसे विषयों पर अपने विचार रखे। आयोजन में मो. परवेज, हाफिज जफर सादिक, हाफिज अख्तर रजा अख्तर, मो. फिरोज, मो. फारूक, सैयद सलीम, सरफराज, मो. हारूण, मौलाना आरिफ व अन्य सक्रिय रहे।