Move to Jagran APP

दुर्गा पूजा: कदमकुआं चूड़ी मार्केट में दिखेगा कंबोडिया के बुद्ध मंदिर, ऊंचाई होगी 60 फीट Patna News

दुर्गा पूजा पर इस बार चूड़ी मार्केट में कंबोडिया के मंदिर की झलक भक्तों को देखने को मिलेगी। पंडाल की उंचाई 60 फीट और चौड़ाई 45 फीट की होगी।

By Akshay PandeyEdited By: Published: Thu, 26 Sep 2019 10:02 AM (IST)Updated: Thu, 26 Sep 2019 10:02 AM (IST)
दुर्गा पूजा: कदमकुआं चूड़ी मार्केट में दिखेगा कंबोडिया के बुद्ध मंदिर, ऊंचाई होगी 60 फीट Patna News
दुर्गा पूजा: कदमकुआं चूड़ी मार्केट में दिखेगा कंबोडिया के बुद्ध मंदिर, ऊंचाई होगी 60 फीट Patna News

पटना, जेएनएन। श्री दुर्गापूजा कल्याण समिति, शिव मंदिर, चूड़ी मार्केट, कदमकुआं 1918 से लगातार दुर्गापूजा करते आ रही है। इस बार चूड़ी मार्केट में कंबोडिया के मंदिर की झलक भक्तों को देखने को मिलेगी। पंडाल में भगवान शिव और भगवान बुद्ध की भी झलक भक्त देख सकेंगे।

loksabha election banner

पंडाल में दुष्टों का संहार और शांति का पाठ दोनों एक साथ देखने को मिलेगा। पंडाल का निर्माण बंगाल के प्रसिद्ध पंडाल निर्माता मोहन डीहलोई अपनी 20 सदस्यीय टीम के साथ पिछले एक महीने से कर रहे हैं। पंडाल की उंचाई 60 फीट और चौड़ाई 45 फीट है। पंडाल के निर्माण में प्लाईवुड और पटुआ का इस्तेमाल हो रहा है। समिति की मानें तो पंडाल को षष्ठी तक बना लिया जाएगा।

मां दुर्गा की मूर्ति मूर्तिकार शिवशंकर पंडित अपनी 10 सदस्यीय टीम के साथ कर रहे हैं। चूड़ी मार्केट में मां की प्रतिमा बंगाल शैली में बनाई जा रही है। प्रतिमा की साज-सज्जा का सामान कोलकाता से मंगाया गया है। भक्तों के दर्शन के लिए सप्तमी के दिन शाम 7:30 बजे मां का पट खोल दिया जाएगा। प्रसाद के रूप में सप्तमी को फल, अष्टमी को हलवा पुरी और नवमी को खिचड़ी श्रद्धालुओं को दिया जाएगा।

श्रद्धालुओं की मुराद होती है पूरी

पूजा समिति के सदस्यों का कहना है कि जहां पर पंडाल बनाया जा रहा है, वहां शिव मंदिर भी है। इस शिव मंदिर की ऐसी मान्यता है कि यहां जो भी भक्त आते हैं, उनकी मनोकामना पूरी होती है। शिव मंदिर के आचार्य पंडित बिजेंद्र कुमार मिश्र और पुजारी रवि कुमार मिश्र हैं।

सड़क के दोनों किनारे होगी बेहतर लाइटिंग

पूजा पंडाल के आसपास रंगीन बत्तियों से आकर्षक सजावट की जाएगी। समिति की मानें तो शिव मंदिर से लेकर ब्रह्म स्थान मंदिर तक सड़क के दोनों ओर एलईडी लाइटें लगाई जाएंगी।

सुरक्षा के रहेंगे पुख्ता इंतजाम

श्रद्धालुओं की सहायता के लिए पूजा समिति के 50 वालंटियर मुस्तैद रहेंगे। इसके अलावा 10 निजी सुरक्षा कर्मी भी रहेंगे। स्थानीय पुलिस से भी समिति संपर्क में है।

ईको फ्रेंडली मनायी जाएगी पूजा

इस बार स्थापना से लेकर विसर्जन तक बैंड-बाजा का प्रयोग नहीं किया जाएगा। सिर्फ ढाक का प्रयोग किया जा रहा है। पंडाल और मूर्ति का निर्माण भी पर्यावरण को ध्यान में रखकर किया जा रहा है।

कैसे हुई समिति की शुरुआत

पूजा समिति की ओर से 1918 से 1947 तक स्वर्गीय ललन बाबू के मकान में मां की प्रतिमा स्थापित होती थी। 1948 से यह पूजा कदमकुआं शिव मंदिर में होने लगी। समिति के लोग बताते हैं कि स्वर्गीय अलख बाबू, स्वर्गीय अंजनी बाबू, स्वर्गीय डोमन भगत, स्वर्गीय जगन भगत और स्वर्गीय माणिक चंद द्वारा मुहल्ले में पूजा की शुरुआत की गई। इस समिति की ओर से हर बार बंगाल शैली पर मूर्ति बनाई जाती है।

भक्तों के लिए रहेगा आकर्षण का केंद्र

मां का शृंगार अष्ट आभूषणों से किया जाता है। दो लाख श्रद्धालु हर वर्ष दर्शन करने आते हैं। पुनपुन, बिहटा, पालीगंज, आरा, बक्सर के लोग अपनी मुराद लेकर यहां आते हैं। इस बार समिति की 102वीं वर्षगांठ मनाई जा रही है।

समिति के सदस्यों का विवरण

अध्यक्ष- शशि रंजन मिश्रा, सचिव- मनोज सिंह, उपाध्यक्ष- राजन कुमार, कोषाध्यक्ष- विजय कुमार अग्रवाल, सह कोषाध्यक्ष- विवेक कुमार जैन, मीडिया प्रभारी- नरेश अग्रवाल, एक्शन कमेटी- सोहन लाल अग्रवाल और अमित आनंद। कार्यकारणी सदस्य- चंदन कुमार, विशाल मिश्रा (गुन्नु), विनोद कुमार, सुनील भीमसरिया, मनोज रंजन, टिंकू अग्रवाल, राहुल शर्मा, मृत्युंजय कुमार, दिनेश खेतान।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.