BSSC घोटाला : AVN SCHOOL से लीक हुआ था प्रश्नपत्र, 6 और गिरफ्तार
बीएसएससी के पेपर लीक मामले में एसआइटी ने बड़ा खुलासा किया है। पटना के एसएसपी मनु महाराज के अनुसार स्थानीय एवीएन स्कूल से प्रश्नपत्र लीक होकर वायरल हुआ था।
पटना [जेएनएन]। बिहार कर्मचारी चयन आयोग (बीएसएससी) के इंटर-स्तरीय परीक्षाओं के प्रश्नपत्र और उत्तर लीक मामले में एसआइटी को बड़ी सफलता हासिल हुई है। गुरुवार को एसआइटी प्रमुख सह पटना के एसएसपी मनु महाराज ने दावा किया कि पटना के राजीव नगर स्थित एवीएन स्कूल के परीक्षा केंद्र से दूसरे चरण का प्रश्नपत्र लीक हुआ था।
एसएसपी के अनुसार इस स्कूल के केंद्राधीक्षक रामशुमेर सिंह ने प्रश्नपत्र को वाट्सएप के माध्यम से गिरफ्तार पवन कुमार को भेजा, जो कि वायरल हो गया। इस सिलसिले में एसआइटी ने गुरुवार को छह और लोगों को गिरफ्तार किया, जबकि कई लोग हिरासत में भी लिए गए हैं।
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छह आरोपी गिरफ्तार
एसआइटी ने गुरुवार को रामशुमेर समेत स्कूल के संरक्षक रामाशीष सिंह, बेउर स्थित रैंडम कोचिंग क्लासेस के मालिक रामेश्वर कुमार, बिहटा स्थित वर्मा आइटीआइ कॉलेज के मालिक नितिन कुमार उर्फ सनोज, पटना जंक्शन के लोको पायलट आलोक रंजन और बीएसएससी की परीक्षा के अभ्यर्थी सह दलाल कौशल किशोर सहित छह लोगों को गिरफ्तार कर लिया। उनके पास से कई मोबाइल मिले, जिसमें प्रश्नपत्रों के फोटो हैं। इसके अलावा परीक्षा से जुड़े अहम दस्तावेज, अभ्यर्थियों के मूल शैक्षणिक प्रमाणपत्र आदि बरामद किए गए।
पाटलिपुत्र में छापेमारी
बताया जाता है कि गुरुवार देर रात पाटलिपुत्र इलाके में छापेमारी कर एसआइटी ने कई लोगोें को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया। उनके पास से संदिग्ध दस्तावेज भी मिले।
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एसएसपी के मुताबिक पवन कुमार, विपिन कुमार और नवनीत कुमार को बुधवार को 72 घंटों की रिमांड पर लिया गया था। वे सभी ब्लूटूथ के माध्यम से अभ्यर्थियों को नकल कराने वाले गिरोह के गुर्गे हैं और चार फरवरी को दूसरे चरण की परीक्षा से पहले अगमकुआं से गिरफ्तार किए गए थे। उनसे पूछा गया कि वो जिन अभ्यर्थियों को ब्लूटूथ देकर भेजने वाला था, उन्हें बिना प्रश्नपत्र देखे उत्तर कैसे बताता? तब उसने कहा कि एवीएन स्कूल का केंद्राधीक्षक रामशुमेर सिंह उसे वाट्सएप पर प्रश्नपत्र भेजने वाला था। पुलिस ने उसके मोबाइल की छानबीन की तो परीक्षा से एक घंटे पहले रामशुमेर ने प्रश्नपत्र भेज दिए थे। उसके बाद रामशुमेर को पकड़ा गया।
उसने बताया कि एवीएन स्कूल में बीएसएससी का परीक्षा केंद्र था। केंद्र पर परीक्षा से लगभग डेढ़ घंटे पहले प्रश्नपत्र आ गए। उसने सील बंडल को ब्लेड से खोला, फिर प्रश्नपत्र निकालकर मोबाइल से फोटो खींचा और पवन समेत अन्य जालसाजों को भेज दिया। यह काम वह स्कूल के संरक्षक रामाशीष सिंह के कहने पर कर रहा था। रामाशीष उसके जीजा हैं और पत्नी मालती सिन्हा के नाम पर स्कूल संचालित करते हैं।
इसके बाद रामाशीष की गिरफ्तारी हुई। तब मालूम हुआ कि रामेश्वर, आलोक रंजन, सनोज और कौशल भी दलाली कर रहे थे। प्रत्येक अभ्यर्थी से चार से छह लाख रुपये का सौदा किया गया था। इस काम के लिए रामशुमेर को 50 हजार रुपये मिले थे।