बिहार के पूर्व सीएम जीतन राम मांझी को भाजपा की नसीहत, हमें आपके मुफ्त के ज्ञान की जरूरत नहीं
Bihar Politics पूर्व सीएम जीतन राम मांझी की नसीहत भाजपा को पसंद नहीं आई है। पार्टी ने कह दिया है कि हमें ऐसे मुफ्त ज्ञान की जरूरत नहीं है। साथ ही पार्टी ने सलाह दी है कि अपने पद की गरिमा के मुताबिक बयान दें।
पटना, आनलाइन डेस्क। Bihar Politics: पसमांदा मुसलमानों को लेकर बिहार में सियासत गर्म हो गई है। पहले जदयू के गुलाम गौस ने पीएम नरेंद्र मोदी की सराहना की। प्रधानमंत्री से कई मांग भी कर डाली। इसके बाद पूर्व सीएम जीतन राम मांझी (Ex CM Jitan Ram Manjhi) ने भी अलग राग अलापा है। उन्होंने भाजपा से अपेक्षा कर दी कि वह बिहार में पसमांदा मुसलमान को सीएम का उम्मीदवार बनाएगी। अब भाजपा ने उन्हें नसीहत दी है कि मुफ्त का ज्ञान मत दीजिए। साथ ही उन्हें सलाह दी है कि अपनी गरिमा का ख्याल रखते हुए कोई बयान दें।
मांझी ने कहा-भाजपा पसमांदा मुसलमान को बनाए सीएम उम्मीदवार
हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के संरक्षक जीतन राम मांझी ने ट्वीट कर कहा कि देशभर में पसमांदा मुसलमानों को अपने साथ जोड़ने की बात करने वाली बीजेपी से उम्मीद है कि इस बार बिहार में किसी पसमांदा मुसलमान को मुख्यमंत्री का उम्मीदवार घोषित करेगी। तब ही माना जाएगा कि भाजपा को पसमांदा मुसलमानों की फिक्र है।
आप प्रवक्ता के रूप में मत बोलिए मांझी जी
इसपर भाजपा प्रवक्ता निखिल आनंद ने मांझी पर पलटवार किया है। उन्होंने कहा है कि मांझी कभी-कभी सुर्खियां बटोरने के लिए टिप्पणी करते हैं। उनके जैसे वरिष्ठ सम्मानित नेता को किसी भी अन्य पार्टी या नेता के मुख्यपत्र या प्रवक्ता के रूप में इस्तेमाल नहीं होना चाहिए। भाजपा जैसी लोकतांत्रिक पार्टी को किसी मुफ्त के और उधार के सलाह की कतई जरूरत नहीं है।
जीतनराम मांझी अपने बयानों और ट्वीट के कारण अक्सर चर्चा में रहते हैं। बिहार सरकार की शराबबंदी नीति की भी वह समय-समय पर समीक्षा की मांग करते रहते हैं। रविवार को नवादा पहुंचे पूर्व सीएम ने वारिसलीगंज चीनी मिल को लेकर सीएम नीतीश कुमार पर टिप्पणी की। उन्होंने कहा कि इस मिल को खुलवाने में सीएम नीतीश कुमार का ईमानदार प्रयास नहीं हुआ है। नीतीश कुमार की विकास योजनाओं से मजदूरों का पलायन नहीं रुक रहा है।