Bihar Politics; क्या HAM के राष्ट्रीय अध्यक्ष का पद छोड़ेंगे जीतनराम मांझी? नए अध्यक्ष का चुनाव 18 को
हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा में आंतरिक लोकतंत्र लाने की कवायद हो रही है। इसकी शुरुआत पार्टी अध्यक्ष के चुनाव के साथ 18 दिसंबर को होने जा रही है। ऐसे में सवाल यह है कि क्या जीतन राम मांझी पार्टी के अध्यक्ष का पद छोड़ेंगे या चुनाव महज औपचारिकता होगी?
पटना, जेएनएन। Bihar Politics क्या बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री व हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (HAM) के संस्थापक अध्यक्ष जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) अपनी पार्टी के अध्यक्ष (National President) नहीं रहेंगे? आगामी 18 दिसंबर को पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष का नए सिरे से चुनाव होने जा रहा है। पार्टी को मजबूत करने तथा इसके विस्तार को लेकर कवायद के सिलसिले में खुद जीतन राम मांझी ने इसका फैसला किया है। हालांकि, कोई नया अध्यक्ष चुना जाए, इसकी संभावना नहीं दिख रही है।
13 को पार्टी के राष्ट्रीय परिषद की बैठक, 18 को अध्यक्ष का चुनाव
हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के अध्यक्ष जीतन राम मांझी ने 13 दिसंबर को पार्टी के राष्ट्रीय परिषद की बैठक बुलाई है। मिली जानकारी के अनुसार राष्ट्रीय परिषद की बैठक के बाद 18 दिसंबर को पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव होगा। इसके लिए 15 दिसंबर को नामांकन होगा।
पार्टी में लोकतंत्र का संदेश देने के लिए होगा संगठनात्मक चुनाव
जीतन राम मांझी पर परिवारवाद (Nepotism) के आरोप लगते रहे हैं। 'हम' को भी केवल मांझी व उनके परिवार की पार्टी माना जाता रहा है। इस सोच को बदलने तथा पार्टी में लोकतंत्र (Democracy) है, इसका संदेश देने के लिए संगठनात्मक चुनाव (Institutional Election) की प्रक्रिया राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव के साथ शुरु की जा रही है। आगे पार्टी के अन्य पदों के लिए भी चुनाव होगा।
जीतन राम मांझी पर लगते रहे हैं परिवारवाद के आरोप
विदित हो कि जीतन राम मांझी की पार्टी पर परिवारवाद के आरोप लगते रहे हैं। हालिया बिहार विधानसभा चुनाव (Bihar Assembly Election 2020) में पार्टी ने जिन सात सीटों पर चुनाव लड़ा था, उनमें मांझी की समधन व उनके बेटे को भी टिकट दिए गए थे। पार्टी जिन चार सीटों पर जीती, उनमें वे दोनों शामिल रहे। फिर, राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) की सरकार में पार्टी के एकमात्र मंत्री मांझी के बेटे संतोष सुमन (Santosh Suman) बनाए गए।