पढ़ें : अब राजधानी की सड़कों से गायब हो जाएंगी 50 हजार गाडिय़ां
राजधानी में 15 वर्ष पुरानी करीब 50 हजार अवैध डीजल गाडिय़ां बाहर होंगी। ऐसे वाहनों पर प्रतिबंध लगाने को परिवहन विभाग अभियान चलाएगा। इस पहल को शीघ्र ही अमलीजामा पहनाने की तैयारी है। अब बाहर से आने वाले 15 साल पुराने वाहन भी राजधानी में प्रवेश नहीं पा सकेंगे।
पटना। राजधानी में 15 वर्ष पुरानी करीब 50 हजार अवैध डीजल गाडिय़ां बाहर होंगी। ऐसे वाहनों पर प्रतिबंध लगाने को परिवहन विभाग अभियान चलाएगा। इस पहल को शीघ्र ही अमलीजामा पहनाने की तैयारी है। महत्वपूर्ण यह कि बाहर से आने वाले 15 साल पुराने वाहन भी राजधानी में प्रवेश नहीं पा सकेंगे।
दरअसल, परिवहन विभाग ने हाईकोर्ट और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के आदेशों को सख्ती से अमली जामा पहनाने का निर्णय किया है। इसके तहत परिवहन विभाग ने तत्कालीन प्रधान सचिव आरके महाजन द्वारा 21 जुलाई 2013 को जारी किए गए शासनादेश को सख्ती से लागू कराने की कवायद शुरू कर दी है।
- 24 दिसंबर को परिवहन विभाग की समीक्षा के दौरान मुख्यमंत्री ने बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए दिया था निर्देश।
- तीन वर्ष पहले भी राज्य परिवहन प्राधिकार ने 15 वर्ष पुराने वाहनों के प्रवेश को प्रतिबंधित करने का दिया था निर्देश।
- परिवहन आयुक्त नवीन चंद्र झा ने बताया, जुलाई 2013 से पटना में 15 वर्ष पुरानी डीजल गाडिय़ों के रजिस्ट्रेशन रिन्युअल और फिटनेस प्रमाण पत्र देने पर लगी है रोक।
- अब अभियान के तहत ऐसी गाडिय़ों के रजिस्ट्रेशन और फिटनेस की होगी सख्त जांच।
- शीघ्र ही सभी आरटीए, डीटीओ और एमवीआइ को निर्देश देने की है तैयारी।
- पटना डीटीओ से ऐसी गाडिय़ों का नवीनतम आंकड़ा किया गया है तलब।
- 15 वर्ष पुरानी गाडिय़ों के राजधानी में प्रवेश को प्रतिबंधित करने के लिए चेक प्वाइंट भी किए जाएंगे तय।
पटना में 15 वर्ष पुरानी गाडिय़ां
व्यावसायिक गाडिय़ां
- बस : 3287
- मिनी बस : 632
- ट्रक : 16595
- ट्रैक्टर : 6101
- कार व जीप : 2020
- मैक्सी : 1567
- वैन : 2788
- ऑटो रिक्शा : 1204
निजी गाडिय़ां
- जीप : 9836
- कार : 713
(स्रोत : पटना डीटीओ कार्यालय)
परिवहन आयुक्त बोले...
'मुख्यमंत्री के आदेश पर शीघ्र ही सख्ती से अभियान चलाकर 15 वर्ष पुराने वाहनों के पटना में परिचालन को प्रतिबंधित किया जाएगा। राज्य परिवहन प्राधिकार के ढाई वर्ष पुराने निर्णय के तहत कार्रवाई की जाएगी।'
- नवीन चंद्र झा (परिवहन आयुक्त)