कोरोना टीकाकरण को रफ्तार देने में बाधा बन रही पोर्टल की रफ्तार, सामने आ रहीं कई दिक्कतें
कोरोना से सुरक्षा में सेंध लगा रही पोर्टल की मंद रफ़्तार रात 10.30 बजे के बाद पहुंच रहे लाभार्थियों के पास मोबाइल मैन्युअली बुलाए जा रहे लोग अत्यधिक लोड के कारण सही ढंग से मैसेज नहीं पहुंचने से पहले दोनों दिन पूरा नहीं हुआ टार्गेट
पटना, जागरण संवाददाता। दुनिया भर को परेशान करने वाली महामारी कोरोना से देश में शुरू हुई निर्णायक जंग में सहूलियत के लिए बनाया गया को-विन पोर्टल ही उसमें सेंध लगा रहा है। पूरे देशभर के लाभार्थियों का लगातार बढता डाटा का बोझ इस पोर्टल की रफ़्तार को इतना धीमा कर चुका है कि अब वह सहूलियत की जगह सबसे बडी बाधा बन चुका है। इसी के कारण कोरोना वैक्सीनेशन के पहले दिन जहां राजधानी पटना में 61 फीसद लोग ही टीका लेने पहुंचे वहीं दूसरे दिन सोमवार को यह 54 फीसद पर ही सिमट गया। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार इसका कारण को-विन पोर्टल का ठीक से काम नहीं करना है।
कई किस्म की आ रहीं परेशानियां
जिन लोगों को सुबह नौ बजे से टीका लेना होता है, उन्हें देर रात साढे दस बजे या 11 बजे तक पोर्टल से मैसेज मिलता है। ऐसे में कई लोग सुबह ही मैसेज देख पाते हैं। ऐसे में कई लोग या तो उस दिन बहुत व्यस्त होते हैं या कहीं बाहर होते हैं। वहीं कुछ लोग मैसेज मिलने के बावजूद टीका लेने नहीं पहुंचते हैं। टीकाकरण का लक्ष्य पूरा नहीं होने का एक और कारण केंद्रों के अधिकारियों को को-विन पोर्टल में रजिस्टर्ड लोगों की सूची राज्य स्वास्थ्य समिति से देरशाम पहुंचती है। ऐसे में सभी लाभार्थियों को किसी प्रकार फोन पर सूचना देने के बावजूद लोग खुद को इतनी जल्दी टीकाकरण के लिए तैयार नहीं कर पाते हैं।
पीएमसीएच में महिला को बुलाकर नहीं लगाया टीका
इसके अलावा इससे बिल्कुल उलट भी हो रहा है। कुछ लोगों को पोर्टल से मैसेज मिल जाता है लेकिन राज्य स्वास्थ्य समिति से मिली सूची के आधार पर संस्थान जिन लोगों को बुलाता है, उसमें उनका नाम नहीं होता है। सोमवार को पीएमसीएच में ऐसा ही वाकया सामने आया, जिसके बाद उस महिला ने जमकर हंगामा किया। आखिर में अधिकारियों को काफी मान-मनौव्वल कर अगले दिन टीकाकरण की बात कह कर उसे शांत कराना पडा।
जो छूट रहे हैं, उनका दो से तीन दिन में होगा टीकाकरण
जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डॉ. एसपी विनायक ने बताया कि पोर्टल की समस्या जल्द सुधार ली जाएगी या इसका वैकिल्पक रास्ता निकाला जाएगा। यही नहीं जो लोग सूची के अनुसार टीकाकरण के लिए नहीं पहुंच पा रहे हैं, उन्हें दो से तीन दिन के अंदर दोबारा पोर्टल से मैसेज जाएगा और उनका टीकाकरण किया जाएगा।