उत्तर बिहार के जिलों में धू-धू कर जला रावण, लगे श्रीराम के जयकारे
Bihar news उत्तर बिहार में विजयादशमी का त्योहार धूमधाम से मनाया जा रहा है। आयोजन स्थल पर लोगों की भारी भीड़ी जुट है। रावण का पुतला दहन करते हुए लोगों को धर्म की अधर्म पर विजय का संदेश दिया।
समस्तीपुर, जासं। उत्तर बिहार के समस्तीपुर, दरभंगा, मुजफ्फरपुर, पश्चिम चंपारण व अन्य जगहों पर जलाया गया रावण। समस्तीपुर में भी विजयादशमी का त्योहार धूमधाम से मनाया जा रहा है। इस अवसर पर जिला दशहरा कमेटी की ओर से शहर के सटे जितवारपुर स्थित हाउसिंग बोर्ड मैदान में रावण विध्वंस लीला का भव्य आयोजन किया गया। श्रीराम, लक्ष्मण, हनुमान समेत वानरी सेना के रूप में कलाकारों ने लंका में आग लगाई और रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण का पुतला दहन करते हुए लोगों को धर्म की अधर्म पर विजय का संदेश दिया। जैसे ही भगवान श्रीराम ने विशालकाय रावण के नाभी में तीर मारा, हाउसिंग बोर्ड का पूरा मैदान जय श्रीराम की घ्वनी से गूंजायमान हो उठा। इसे देखने के लिए सैकड़ो की संख्या में लोग मौजूद थे।
शोभा यात्रा निकाली गई
इससे पूर्व आयोजन कमेटी के द्वारा पंजाबी कालोनी मोहल्ला से गाजे बाजे के साथ श्रीराम, लक्ष्मण, हनुमान समेत वानरी सेना के साथ शोभा यात्रा निकाली गई। रथ पर सवार श्रीराम, लक्ष्मण, हनुमान के साथ वानरी सेना विभिन्न मार्ग से नगर भ्रमण करते हुए जितवारपुर हाउसिंग बोर्ड मैदान पहुची। इस दौरान जगह-जगह लोगों ने पुष्प वर्षा कर स्वागत किया। हाउसिंग बोर्ड मैदान में हनुमान और वानरी सेना ने पहले रावण के लंका में आग लगाई। भगवान श्रीराम ने जैसे ही रावण के नाभिकुंड में तीर मारा तो रावण का विशालकाय पुतला धू-धू कर जलने लगा। हाउसिंग बोर्ड मैदान जय श्रीराम के जयकारे से गूंज उठा। रावण के साथ मेघनाथ व कुंभकर्ण का भी पुतला दहन किया गया। अधर्म पर धर्म की इस जीत को देखने के लिए भारी संख्या में भीड़ उमड़ी रही। रावण के विशालकाय 60 फीट का पुतला और मेघनाद व कुंभकर्ण के 50 फीट का पुतला आकर्षण का केंद्र रहा। आयोजन कमेटी के अध्यक्ष बलराज तनेजा और सचिव मुकेश कटारिया ने बताया कि पिछले 67 साल से रावण विध्वंस लीला का आयोजन किया जा रहा है। पिछले दो साल कोरोना महामारी के चलते आयोजन स्थगित रहा। इस बार रावण विध्वंस लीला देखने को काफी संख्या में लोगों की भीङ उमडी। राम की भूमिका में यशस्वी, लक्ष्मण की भूमिका में शास्वत और हनुमान की भूमिका में पुनीत तनेजा रहे। कार्यक्रम का संचालन मनोज जायसवाल ने किया।
सुरक्षा व्यवस्था को पुलिस प्रशासन रहा मुस्तैद
हाउसिंग बोर्ड मैदान में रावण विध्वंस लीला के आयोजन को लेकर पुलिस प्रशासन की टीम मुस्तैद रही। मजिस्ट्रेट के साथ काफी संख्या में पुलिस बलों को तैनात थे। मौके पर मुख्यालय डीएसपी अमित कुमार, अंचलाघिकारी विनय कुमार, नगर थानाध्यक्ष चंद्रकांत गौरी, मुफस्सिल थानाक्षेत्र प्रवीण मिश्रा समेत मौजूद रहे।
दरभंगा के केवटी में धू-धूकर जला बुराई का प्रतीक रावण
विजयादशमी पर बुधवार की शाम ज़िले के केवटी प्रखंड की ननौरा एवं केवटी में रावण के पुतले का दहन कर बुराई पर अच्छाई की विजय का संदेश दिया गया। ननौरा में राम एवं रावण प्रतिरूप के बीच करीब एक घंटे तक चले वाक युद्ध के बाद रावण के विशालकाय 45 फीट लंबा पुतले का वध किया गया । राम की भूमिका अवकाश प्राप्त शिक्षक राम उदार यादव व रावण की भूमिका विसुनदेव यादव ने निभाई ।
इस दौरान जय श्री राम, जय हनुमान एवं जय मां दुर्गा की जयघोष से पूरा वातावरण गुंजयमान होता रहा । इस दौरान सुरक्षा का पुख्ता इंतजाम किया गया था । मौके पर उप प्रमुख धर्मशीला देवी, मुखिया रंजुला देवी ,पूजा समिति के अध्यक्ष अनील कुमार राय, सचिव विजय शंकर यादव, उपाध्यक्ष प्रमोद कुमार , विनोद पासवान , अवधेश कुमार राय आदि के अलावा पूजा समिति के सभी पदाघिकारी व सदस्य मौजूद थे । इधर, केवटी में 31 फीट लंबा विशालकाय रावण के पुतले का वध किया गया। मौके पर पूजा समिति के अध्यक्ष राम प्रसाद गुप्ता, सचिव आकाश कुमार गुप्ता निक्की, कोषाध्यक्ष प्रवीण कुमार झा, मुखिया प्रतिनिधि संतोष कुमार साहु समेत पूजा समिति के सभी पदाधिकारी व सदस्य एवं काफी संख्या में लोग मौजूद थे।
मधुबनी जिले में पटाखों की शोर के बीच रावण का पुतला दहन
विजयादशमी का त्यौहार प्रखंड के विभिन्न हिस्सों में हर्षोल्लास के साथ सम्पन्न हुआ। पंडौल में नवरात्रा के अंतिम दिन मां दुर्गा की भव्य विसर्जन यात्रा निकालकर मां दुर्गा को अंतिम विदाई दी गई। मां दुर्गा की विदाई यात्रा पंडौल बाजार से निकल कर पंडौल औद्योगिक क्षेत्र होते हुए सागरपुर बड़की पोखर तक गई। विदाई यात्रा में हजारों श्रद्धालु मां दुर्गा के जयकारे लगाते हुए वहां तक गया।
पंडौल हटिया गाछी के पास कमला नदी किनारे हजारों लोगों की उपस्थिति में रावण ,कुुम्भ कर्ण का पुतला दहन कर विजयादशमी का त्यौहार मनाया गया। पुतला दहन से पूर्व विभिन्न प्रकार की झांकियां निकाली गई। सीता- राम, लक्ष्मण, हनुमान सहित वानरी सेना, शिव - पार्वती, महाकाल, मिसाइल, रेल, सोने की लंका, मां वैष्णो देवी, अशोक वाटिका, रावण- सीता संवाद सहित अन्य झांकियां निकाली गई। झांकियां निकल कर पंडौल हाट गाछी स्थित कमला नदी किनारे श्रद्धालु पहुंचे। जहां रावण, कुम्भकर्ण व मेघनाद के बने पुतले का दहन कर लोगों को बुराई पर अच्छाई की जीत का संदेश दिया गया। पुतलों में जैसे ही आग लगाई गई पूरा इलाका पटाखों के शोर व जगमगाहट से गूंजने लगा। इस दौरान बीडीओ डा. अभिजीत चौधरी, आरओ निर्मला, पंडौल थानाध्यक्ष शंकर शरण दास, एसआइ आइशा कुमारी ,विपिन कुमार, एएसआइ मनोज कुमार सिंह, धर्मेंद्र कुमार, अरूण कुमार, तईयब हसन, मुन्ना मांझी सहित अन्य पुलिस पदाधिकारी पांच दर्जन से अधिक सुरक्षा बलों के साथ विधि व्यवस्था में तैनात रहे। रावण दहन के दौरान झांकियों के साथ हजारों की संख्या में लोगों की भीड़ मौजूद रही। इस दौरान तीन घंटे के लिए पंडौल -मधुबनी मुख्य सड़क पर आवागमन बंद कर दिया गया था। वाहनों को दूसरे रास्ते से निकाला जा रहा था।
सरिसब पाही में 173 वर्षों से लगातार हो रही नवटोल दुर्गा पूजा की भव्य विसर्जन यात्रा भक्तिमय गीतों के बीच निकाली गई। इस यात्रा का मुख्य आकर्षण सैकड़ों लाठी डंडों के करतब दिखाते श्रद्धालू रहे। नवटोल, सरिसब, पाही, इसहपुर,बिट्ठो, हाटी, भट्टपुरा, कोलिखाहा, सखबार, खड़रख, लोहना, लालगंज, संकोर्थू समेत आसपास के करीब 25-30 हजार लोग छह किमी की लंबी पदयात्रा कर मां दुर्गा के चाल को कंधों पर लेकर विसर्जन के लिए भैरवस्थान थाना क्षेत्र स्थित पैटघाट पहुंचे। पैटघाट स्थित कमला धार में चार जगहों की मां दुर्गा का विसर्जन एक साथ किया गया। यहां नवटोल, इसहपुर, शुक्लारही व लोहना की मां दुर्गा की प्रतिमा का विसर्जन किया गया। इस दौरान भैरवस्थान थाना के पुलिस पदाधिकारी दर्जनों सुरक्षा बलों के साथ तैनात रहे। विसर्जन यात्रा के दौराना सड़क को साफ सुथरा कर किनारे- किनारे जगह जगह श्रद्धालुओं के लिए शर्बत, पानी व बिस्कूट की व्यवस्था की गई थी।