उत्तर बिहार में बारिश से नदियों में उफान, बाढ़ का खतरा बढ़ा; ठनका गिरने से एक की मौत
बारिश के दौरान ठनका गिरने से एक की मौत दूसरा झुलसा। पश्चिम चंपारण और मधुबनी के निचले इलाकों में फैला पानी। कमला बलान बागमती खतरे के निशान के पार।
मुजफ्फरपुर, जेएनएन। उत्तर बिहार में शनिवार रात और रविवार को जमकर बारिश हुई। जनजीवन अस्तव्यस्त रहा। नदियों के जलस्तर में तेजी से वृद्धि जारी रही। इससे बाढ़ का खतरा बढ़ गया है। तटबंधों पर दबाव बढऩे लगा है। पश्चिम चंपारण और मधुबनी जिले के निचले इलाकों में तेजी से पानी फैल रहा है। लोग दहशत में हैं। बारिश के दौरान ठनका गिरने से पूर्वी चंपारण में एक युवक की मौत हो गई। जबकि, मधुबनी में एक युवक झुलस गया।
पश्चिम चंपारण में गंडक नदी का जलस्तर 86 हजार क्यूसेक को पार गया है। निचले इलाकों में पानी भर गया है। गंडक बराज के सभी गेटों को आंशिक तौर पर उठा दिया गया है। जल संसाधन विभाग ने तटबंधों की सुरक्षा के लिए अलर्ट जारी कर दिया है। मसान का पुल नदी का जलस्तर बढऩे के कारण खतरे में आ गया है। पुल को बंद कर दिया गया है। भितहां प्रखंड क्षेत्र में गंडक नदी में निजी नावों के परिचालन पर रोक लगा दी गई है। सोनवर्षा दियारा के किसान परिवार और मवेशियों के साथ ऊंचे स्थानों की ओर जाने लगे हैं।
पहाड़ी नदियों का जलस्तर बढऩे से थरुहट में बाढ़ जैसी स्थिति आ गई है। पानी के तेज बहाव से सड़कें टूटने लगी हैं। वहीं, मधुबनी जिले में कमला बलान झंझारपुर में खतरे के निशान से ऊपर पहुंच गई है। जयनगर में वार्निंग लेवल से कम, लेकिन खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। वीरपुर कोसी बराज से 1 लाख 45हजार 280 क्यूसेक पानी छोड़ा गया है।
कोसी तटबंध के भीतर बघार में पानी पहुंच गया है। हरलाखी प्रखंड में जमुनी व बेलन्योति नदी का पानी बढऩे लगा है। सीतामढ़ी में बागमती नदी कटौझा में लाल निशान को पार गई है। बैरगनिया के ढेंग में खतरे के निशान के करीब पहुंच गई है। झीम नदी का जलस्तर सोनबरसा प्रखंड में तेजी से बढ़ रहा है। मुजफ्फरपुर में भी नदियों के जलस्तर में वृद्धि जारी रही।