DEEPAWALI : मुजफ्फरपुर के बाजार में दिवाली को ले नए-नए डिजाइन की मूर्तियां, ग्राहकों को लुभा रहीं ये मूर्तियां Muzaffarpur news
लक्ष्मी-गणेश की लोकल मूर्तियों की भी जबर्दस्त मांग 30 से लेकर 5000 रुपये तक की मूर्तियां बाजार में उपलब्ध कोलकाता व लखनऊ की मूर्तियों की भी धूम
मुजफ्फरपुर, जेएनएन। दिवाली को लेकर इस बार बाजार सज चुका है। नए-नए डिजाइन व कलर की मूर्तियां यहां उतर आई है। इस बार चाइनीज मूर्तियों की मांग कम है। मुख्य वजह कि स्थानीय मूर्तिकार द्वारा बनाए गए अच्छी डिजाइन की लक्ष्मी-गणेश की मूर्तियां हैं। मूर्तिकार कन्हाई पंडित व जयकिशोर बताते हैं कि बेशक, बाहर से आई मूर्तियों में अच्छी नक्काशी और स्थानीय मूर्तियों से सस्ती होती है। मगर वे लंबे वक्त तक नहीं टिक पाती। बाजार में नए-नए डिजाइन व कलर की मूर्तियां उपलब्ध हैं। जिनमें धोया कलर, सॉश कलर, निकेल कलर व शीप कलर ज्यादा प्रचलित हैं। मूर्तियों की खरीदारी के लिए सीतामढ़ी, मोतिहारी, बेतिया, दरभंगा, समस्तीपुर, पूसा, हाजीपुर, बेतिया, सुपौल आदि क्षेत्रों से ग्राहक पहुंच रहे हैं। हालांकि अब मिट्टी की जगह प्लास्टर ऑफ पेरिस की मूर्तियों ने ले ली है। मिट्टी की मूर्तियां अब कम ही बनती हैं। प्लास्टर ऑफ पेरिस की मूर्तियों के प्रति पिछले दस साल में ग्राहकों का रुझान काफी बढ़ा है। बावजूद जिले के बाहर के बाजारों में मिट्टी की मूर्तियों की ही डिमांड है। बाजार में 30 से लेकर 5000 रुपये तक की लक्ष्मी-गणेश की मूर्तियां बिक रही हैं। पिछले साल की तुलना में इस बार दाम में कोई खास इजाफा नहीं हुआ है।
मूर्ति दाम प्रति सेट (रुपये में)
शंख वाली 60-100
गोल्डेन टच वाली 60-100
धोया मूर्ति 40-100
कमल आसन वाली 50-80
बायें सूंढ़ की मूर्ति 60-200
कोलकाता वाली 350-5000
लखनऊ वाली 80-800