जानें क्यों मैट्रिक परीक्षा की कॉपियों का नहीं शुरू हो सका मूल्यांकन, किस तरह की हो रही परेशानी
माध्यमिक एवं नियोजित शिक्षकों की हड़ताल के कारण मैट्रिक व इंटर परीक्षा के मूल्यांकन में आ रही समस्या। सभी सेंटरों पर 50 हजार कॉपियों की होनी है जांच।
मुजफ्फरपुर, जेएनएन। मैट्रिक परीक्षा की कॉॅपियों का मूल्यांकन गुरुवार से शुरू होना था। लेकिन परीक्षकों के नहीं पहुंचने से मूल्यांकन शुरू नहीं हो सका। माध्यमिक एवं नियोजित शिक्षकों की हड़ताल के कारण मैट्रिक व इंटर परीक्षा के मूल्यांकन में समस्या आ रही है।
6000 परीक्षकों की जरूरत
मैट्रिक परीक्षा की कॉपियों के मूल्यांकन के लिए छह केंद्र बनाए गए हैं। इनमें जिला स्कूल, राधा कृष्ण केडिया, चैपमैन स्कूल, मुखर्जी सेमिनरी, बीबी कॉलेजियट और मारवाड़ी हाईस्कूल शामिल हैं। सभी सेंटरों पर 50 हजार कॉपियों की जांच होनी है। मूल्यांकन के लिए 6000 परीक्षकों की जरूरत हैं। लेकिन गुरुवार को 10 से 15 शिक्षक से अधिक नहीं पहुंच सके। जबकि एक केंद्र पर करीब 150 से 200 परीक्षकों की जरूरत है।
मूल्यांकन कार्य शुरू
जिला शिक्षा पदाधिकारी डॉ. विमल कुमार ठाकुर ने बताया कि मारवाड़ी हाईस्कूल में मूल्यांकन कार्य शुरू हो गया है। धीरे-धीरे से केंद्रों पर शुरू हो जाएगा। परीक्षक लोग पहुंच रहे हैं। मूल्यांकन में अनुदानित स्कूलों के शिक्षक, अल्पसंख्यक स्कूलों के शिक्षक और उत्क्रमित स्कूलों के स्नातक प्रशिक्षित शिक्षकों को लगाया जाएगा।
बता दें कि मैट्रिक परीक्षा कॉपियों का मूल्यांकन 5 मार्च से 17 मार्च तक किया जाना है। इधर, इंटर परीक्षा के 172000 कॉपियों का मूल्यांकन होना है। इसमें 100000 कॉपियों का मूल्यांकन हो चुके। 72000 बाकी हैं। 9 मार्च को इसकी समीक्षा की जाएगी।