31 मार्च तक दाखिल कर दें रिटर्न, नहीं लगेगा दंड शुल्क
एक जुलाई 2017 से 30 सितंबर 2018 के मध्य जीएसटी निबंधन करानेवालों को सुविधा। व्यवसाय से जुड़े करीब 600 लोगों को पेशा कर जमा करने की दी गई सूचना।
मुजफ्फरपुर, जेएनएन। उत्तर बिहार वाणिज्य एवं उद्योग परिषद के सभागार में शुक्रवार को दो दिवसीय परामर्श सह पेशा कर वसूली शिविर शुरू हुआ। पहले दिन 105 लोगों ने पेशा कर के रूप में करीब 2.50 लाख रुपये जमा किए। अधिकारियों नें कहा कि एक जुलाई 2017 से 30 सितंबर 2018 के मध्य जिन व्यवसायियों ने जीएसटी निबंधन कराया है और किसी कारणवश रिटर्न दाखिल नहीं कर सके हैं, वे 31 मार्च तक कर दें। उन्हें दंड शुल्क नहीं देना होगा।
मौके पर वाणिज्यकर विभाग के असिस्टेंट कमिश्नर रवींद्र कुमार ने बताया कि व्यवसाय से जुड़े करीब 600 लोगों को इसकी सूचना दी गई है। साल में 2500 रुपये का फिक्स्ड पेशा कर लगता है। इसको टैक्स के रूप में जमा करने में कोई परेशानी नहीं है। दो दिनों के शिविर में शनिवार को अधिक लोगों को आने की उम्मीद है। जो शिविर में नहीं आ पाएंगे, वे किसी भी बैंक में चालान जमा करा कर रसीद प्राप्त कर सकते। उनका टैक्स जमा हो जाएगा। उन्होंने कहा कि विभिन्न पेशे से जुड़े लोगों को नोटिस जारी कर जमा करने के लिए कहा गया है। यदि वे ऐसा नहीं करते तो उनके विरुद्ध विभागीय नियमानुसार जुर्माना वसूलने की कार्रवाई की जाएगी।
मौके पर राज्य कर अपर आयुक्त ज्योतिंद्र कुमार, संयुक्त आयुक्त कार्तिक कुमार सिंह, संयुक्त आयुक्त गोपाल अग्रवाल, सहायक आयुक्त उमापति नारायण सहित अन्य कर्मी मौजूद थे। इसके अलावा चैंबर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष मोतीलाल छापरिया, सचिव अरुण कुमार, कैलाशनाथ भरतीया, राजीव केजड़ीवाल, पूर्व अध्यक्ष पुरुषोत्तमलाल पोद्दार सहित अन्य थे।
जीएसटी को सालाना जमा करने की मांग
उत्तर बिहार वाणिज्य एवं उद्योग परिषद के पूर्व अध्यक्ष पुरुषोत्तमलाल पोद्दार ने जीएसटी को तिमाही के बदले सालाना जमा करने की मांग केंद्र सरकार से की। उन्होंने कहा कि त्रैमासिक जीएसटी से व्यापारियों को काफी परेशानी हो रही। उन्होंने कहा कि त्रैमासिक के बदले सरकार एडवांस टैक्स जमा करा ले।