Jan Gan Yatra : भाकपा नेता कन्हैया कुमार ने कहा- यह नेता बनने की नहीं, तिरंगा बचाने की लड़ाई
Jan Gan Yatra के क्रम में मधुबनी पहुंचे भाकपा नेता ने सीएए एनआरसी व एनपीए पर केंद्र सरकार को घेरा। कहा कुर्सी खतरे में इसलिए मुद्दे से ध्यान भटकाया।
मधुबनी, जेएनएन। भाकपा नेता कन्हैया कुमार ने सोमवार को जिले में कई सभाएं कीं। जन-गण यात्रा के क्रम में यहां पहुंचे कन्हैया ने कहा कि यह यात्रा सीएए, एनआरसी, एनपीआर विरोधी मोर्चे के रूप में शुरू हुई है। यह लड़ाई नेता बनाने के लिए नहीं है। यह तिरंगा बचाने की है। सीएए व एनआरसी के रूप में लोकतंत्र की बुनियाद पर हमला हो रहा है। शहादतों के बाद हमें जो आजादी मिली वह खतरे में है। उस पर हमला हो रहा है। दुख यह है कि जिन्हें यह जिमेदारी मिली वे ही संविधन को खतरे में डाल रहे हैं।
हरलाखी के दीनदयाल उच्च विद्यालय व जयनगर के डीबी कॉलेज परिसर में सभा को संबोधित करते हुए कन्हैया ने कहा कि नरेंद्र मोदी की कुर्सी खतरे में है। यह नया कानून अभी बनाने की जरूरत क्यों पड़ी। इसलिए असल मुद्दों से भटकाने की कोशिश हो रही है। ये वादा किए थे विकास का, रोजगार का।
किसानों की फसल आय दोगुनी करने का। काला धन वापस लाकर 15 लाख देने का। मगर, वादा पूरा नहीं हुआ तो देश को बांटने की कोशिश हो रही है। अंग्रेजों ने जो फूट डालो, राज करो की चाल चली थी, वही हो रहा।
केंद्र सरकार की नीतियों को लेकर कहा, यह कैसी राष्ट्रवादी सरकार है। सरकारी संपत्ति को बेच रही है। बीएसएनएल, एलआइसी, रेलवे को बेच रही है। सरकारी सड़क, स्कूल, बस, रेलवे नहीं होगा तो सरकरी पीएम लेकर क्या करेंगे। यह सीएए व एनआरसी गरीब, कम पढ़े लिखे, किसान, मजदूर को कागज के नाम पर परेशान करने के लिए लाया गया है। इसकी कोई जरूरत नहीं है। पुलिस प्रशासन कागज के नाम पर परेशान करेगी।
कागज के नाम पर नागरिकता छीनने की कोशिश हो रही है। मगर, इसमें सरकार को सफल नहीं होने देंगे। देश, संस्कृति, भाषा और देश पर जो हमला करेगा, बर्दाश्त नहीं करेंगे। बिजली, स्वास्थ्य, सड़क, शिक्षा पर संघर्ष करेंगे। 29 फरवरी को हुंकार भरेंगे।