Move to Jagran APP

क्लीनिक बंद रहने से दवा व्यवसाय पर पड़ा असर, अब बिक्री में इजाफा

कोरोना संक्रमण से सभी व्यावसायिक क्षेत्रों पर असर पड़ा। वहीं दवा मंडी भी इससे प्रभावित हुई। हालांकि लॉकडाउन में दवा दुकानों को खोलने की छूट थी लेकिन क्लीनिक और अस्पताल बंद रहने या इमरजेंसी मरीजों के लिए ही खुलने से दवाओं की बिक्री पर असर पड़ा।

By Edited By: Published: Tue, 20 Oct 2020 11:59 PM (IST)Updated: Tue, 20 Oct 2020 11:59 PM (IST)
क्लीनिक और अस्पताल बंद रहने से दवाओं की बिक्री पर असर पड़ा।

मुजफ्फरपुर। कोरोना संक्रमण से सभी व्यावसायिक क्षेत्रों पर असर पड़ा। वहीं दवा मंडी भी इससे प्रभावित हुई। हालांकि लॉकडाउन में दवा दुकानों को खोलने की छूट थी, लेकिन क्लीनिक और अस्पताल बंद रहने या इमरजेंसी मरीजों के लिए ही खुलने से दवाओं की बिक्री पर असर पड़ा। छोटी कल्याणी स्थित सिन्हा मेडिसिन की संस्थापक काजल सिन्हा बताती हैं कि लॉकडाउन अवधि में दुकान खोलने के समय में बार-बार परिवर्तन हो रहा था। इससे लोगों को परेशानी थी। किसी दिन दवा की दुकानें जल्दी बंद हो जातीं तो कभी देर शाम तक खुली रहतीं। बताया कि कुछ दवाओं की आपूर्ति नहीं हो पा रही थी। वहीं, विटामिन सी समेत कुछ दवाओं के बारे में वाट्सएप पर जानकारी शेयर होने के बाद इसकी बिक्री अधिक हुई। यहां तक काफी लोगों ने इन दवाओं का स्टॉक कर लिया। इससे इन दवाओं का स्टॉक कई बार समाप्त हुआ। कोरोना काल में ग्राहकों को जागरूक करने के लिए दुकान में कई प्रकार के बदलाव किए। बाहर सूचना पट लगाया गया कि मास्क पहनकर ही आएं। साथ ही प्रवेश के समय भी एक-एक कर ग्राहकों को भीतर आने दिया जा रहा था। साथ ही दवाओं के बदलने पर भी रोक थी। इसीलिए जितनी जरूरत हो उतनी ही दवा लेने की सलाह दी जा रही थी। अधिकतर ग्राहक जागरूक थे। कोरोना काल में ऑनलाइन भुगतान के क्षेत्र में भी वृद्धि हुई है। काजल बताती हैं कि अब 25 से 30 फीसद ग्राहक डिजिटल भुगतान कर रहे हैं। एक्सपायरी से सर्वाधिक नुकसान : अघोरिया बाजार स्थित मेडिकल जंक्शन के संस्थापक मो.खालिद ने बताया कि अधिकतर डॉक्टर सामान्य मरीजों को देख नहीं रहे थे। इससे दवाओं की ब्रिकी प्रभावित हुई। वहीं, कई ऐसी दवाएं थीं, जिनका स्टॉक था। उनकी एक्सपायरी डेट तीन या चार महीने थी। उन दवाओं के उपयोग करने की तिथि समाप्त हो जाने से भी नुकसान हुआ। अब स्थिति सामान्य हो रही है। चिकित्सक भी बैठने लगे हैं तो पिछले एक महीने से बिक्री में कुछ इजाफा हुआ है। लेकिन, कुछ महीनों में जो क्षति हुई उसकी भरपाई में काफी समय लगेगा। ऑनलाइन या फोन पर ऑर्डर करने में ग्राहकों की विशेष रुचि नहीं दिखी। कारण, यदि दूसरी कोई दवा उसके स्थान पर मिल गई तो इससे भी परेशानी हो सकती थी। जरूरतमंदों को कराई ऑनलाइन ऑर्डर पर डिलीवरी सिन्हा मेडिसिन की संस्थापक काजल सिन्हा ने बताया कि कारोना काल में जरूरतमंदों और खासकर बुजुर्गों की मदद के लिए ऑनलाइन ऑर्डर लेकर उसकी होम डिलीवरी कराई गई। यह सुविधा पहले से भी दी जा रही थी। लेकिन, लॉकडाउन में और अधिक लोगों को इसका लाभ मिला। वाट्सएप ग्रुप पर यह जानकारी शेयर होने लगी कि विटामिन सी के प्रयोग से इम्युनिटी बढ़ती है। इसके बाद काफी लोग इसकी खरीदारी करने लगे। कई लोगों के स्टाक कर लेने से बाजार में इसकी कमी हो गई। ट्रांसपोर्ट कम चलने से यह कम मात्रा में मिल रही थी। हालांकि, स्थिति ठीक होने के बाद दवाओं की आवक सामान्य हो गई है। अधिकतर दवा दुकानों में भी बांस-बल्ला लगाकर दो मीटर दूर से ही ग्राहकों से दवा का ऑर्डर लिया जाता रहा। अब इसमें कमी आई है। ग्राहकों को किया जागरूक तो मिला सहयोग : दुकान पर आने वाले ग्राहकों को दूरी बनाने व मास्क पहनने के लिए लगातार जागरूक किया जा रहा था। हालांकि काफी ग्राहक पहले से ही सतर्क थे। जागरूकता के बाद अधिकतर ग्राहकों ने नियम का पालन शुरू किया। लोग बारी-बारी से आने लगे। ग्राहकों की मांग पर दवाएं कराते रहे उपलब्ध : कई बार ऐसा हुआ कि ग्राहक जो दवा लेने पहुंचते संबंधित दवाएं मिल ही नहीं पा रही थीं। इसके बाद ग्राहकों की ओर से मांग किए जाने पर मुश्किल हालात में भी दवाएं उपलब्ध कराई गईं। कई ग्राहकों के घर तक दवाओं की डिलीवरी कराई गई। अधिकतर ग्राहकों ने इसका भुगतान ऑनलाइन ही किया। डिजिटल भुगतान में हुई वृद्धि : अभी 25 से 30 फीसद ग्राहक ऐसे हैं जो डेबिट या क्रेडिट कार्ड और ऑनलाइन प्लेटफॉर्म का उपयोग कर भुगतान कर रहे हैं। इससे उन्हें सुविधा भी होती है कि एटीएम में जाकर कतार में नहीं लगना पड़ता। एक क्लिक करते ही भुगतान हो जाता है। यह आगे और बढ़ेगा। इमरजेंसी में रात में भी दी दवाएं : आपात स्थिति में मरीजों को रात में भी दवाएं दी गई। वहीं, प्रशासन की ओर से दुकान खोलने का समय प्रतिदिन बदला जा रहा था। ऐसे में मानवता को देखते हुए मरीजों को दवाएं उपलब्ध कराई गईं।

loksabha election banner

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.