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कैमूर में सैकड़ों एकड़ खेत जलमग्न डाले गए बिचड़े भी डूबे

चैनपुर प्रखंड क्षेत्र के ग्राम मदुरना से होकर गुजरने वाली नहर के जाम रहने के कारण पानी के दबाव से उसका चाट टूट गया।

By JagranEdited By: Published: Mon, 21 Jun 2021 11:03 PM (IST)Updated: Mon, 21 Jun 2021 11:03 PM (IST)
कैमूर में सैकड़ों एकड़ खेत जलमग्न
डाले गए बिचड़े भी डूबे
कैमूर में सैकड़ों एकड़ खेत जलमग्न डाले गए बिचड़े भी डूबे

कैमूर। चैनपुर प्रखंड क्षेत्र के ग्राम मदुरना से होकर गुजरने वाली नहर के जाम रहने के कारण पानी के दबाव से उसका चाट टूट गया। जिस कारण नहर का पानी खेतों की घुस गया और सैकड़ों एकड़ खेत जलमग्न हो गए। जिस वजह से स्थानीय किसानों के द्वारा खेतों में डाले गए बिचड़े भी डूब गए। इससे किसानों की परेशानी बढ़ गई है।

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इस संबंध में किसान राम सूरत सिंह, मुकेश तिवारी, चंदन सिंह, शिव शंकर सिंह आदि लोगों ने बताया कि मदुरना से अवंखरा की तरफ जाने वाली नहर में साफ सफाई के अभाव के कारण भारी मात्रा में झाड़ी और पेड़ उग गए हैं। इससे पहाड़ों में अत्यधिक बारिश होने के कारण नहर के रास्ते आने वाला पानी नहर के चाट को तोड़कर मदुरना गांव के बगल में स्थित सैकड़ों एकड़ खेत में प्रवेश कर गया। इससे स्थानीय सभी किसानों के खेत डूब चुके हैं। यहां तक कि स्थानीय किसानों के द्वारा खेतों में जो बिचड़े डाले गए थे वह भी डूब गया है। स्थानीय किसानों के द्वारा आरोप लगाया गया कि विभाग के द्वारा लापरवाही बरती जा रही है। बरसात के पूर्व नहरों की सफाई नहीं होने के कारण यह समस्या उत्पन्न हो रही है। अगर बरसात शुरू होने के पहले ही नहर का निरीक्षण करके जहां-जहां नहर का चाट टूटा हैं और जहां जाम है यदि उसे दुरुस्त करा लिया जाता तो ऐसी समस्या उत्पन्न नहीं होती। स्थानीय किसानों का कहना है कि ज्यादा पानी रहने के कारण बिचड़ा बर्बाद हो रहा है। दोबारा फिर किसी दूसरे स्थान पर बिचड़ा डालने और उगाने के कारण ससमय फसल की रोपनी नहीं हो पाएगी। स्थानीय किसान मुकेश तिवारी के द्वारा बताया गया कि इनके द्वारा नहर प्रमंडल के जेई को फोन के माध्यम से सूचना देकर इस समस्या से अवगत करवाया गया था एवं साफ-सफाई की गुहार लगाई गई। जिस पर जेई के द्वारा यह जवाब दिया गया था, कि विभाग के पास फंड नहीं है जिस वजह से सफाई कराना मुश्किल है। इस संबंध में सोन उच्च स्तरीय नहर प्रमंडल के कार्यपालक अभियंता अरविद कुमार ने बताया कि नहरों में हल्की फुल्की अगर कहीं झाड़ियां या कुछ उगे हुए तो उसे साफ सफाई करा दी जाती है। विशेष जाम रहने पर इसका प्रस्ताव बनाकर भेजा जाता है। स्वीकृति मिलने के उपरांत सफाई होती है। वर्तमान में नहर जाम की समस्या एवं चाट तोड़ कर खेतों में बह रहे पानी का निरीक्षण करा कर अगर थोड़ा बहुत कार्य होगा तो उसे करा दिया जाएगा। ज्यादा दूरी तक अगर कार्य किया जाना होगा तो इसका प्रस्ताव बनाकर भेजा जाएगा जिसके उपरांत उस कार्य को किया जाएगा। बता दें कि ग्राम मदुरना के पास नहर जाम रहने के कारण चाट तोड़कर सारा पानी इधर ही खेतों में बह रहे इस वजह से अवखरा पुरुषोत्तमपुर आदि गांवों में जाने वाले नहर का पानी बाधित है, उस क्षेत्र के लोग सिचाई से वंचित रह जाएंगे।


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