पोषाहार बंद किए जाने वाले केंद्रों का डीएम ने मांगा प्रतिवेदन
जमुई। पोषण माह में बंद पोषाहार चालू कराने के नाम पर 30 हजार रुपये घूस लेते सीडीपीओ कार्यालय सिकन्दरा के दो कर्मी के निगरानी के हत्थे चढ़ने के बाद जिलाधिकारी ने पोषाहार बंद रहने के मामले को गंभीरता से लिया है।
जमुई। पोषण माह में बंद पोषाहार चालू कराने के नाम पर 30 हजार रुपये घूस लेते सीडीपीओ कार्यालय सिकन्दरा के दो कर्मी के निगरानी के हत्थे चढ़ने के बाद जिलाधिकारी ने पोषाहार बंद रहने के मामले को गंभीरता से लिया है। जिलाधिकारी धर्मेन्द्र कुमार ने इस बाबत आइसीडीएस के डीपीओ कविता कुमारी को आदेश करते हुए जिले भर में पोषाहार बंद किए जाने वाले आंगनबाड़ी केन्द्रों से संबंधित प्रतिवेदन प्रस्तुत करने को कहा है। उन्होंने अपने आदेश में कहा है कि कौन सा आंगनबाड़ी केन्द्र का पोषाहार किन कारणों से बंद किया गया है इसकी विस्तृत जानकारी दो दिनों के भीतर उपलब्ध कराएं। जिलाधिकारी के इस आदेश के बाद जिले भर के पर्यवेक्षिकाओं व सीडीपीओ के बीच हड़कंप मचा है। जिलाधिकारी ने कहा कि पोषाहार वितरण में गड़बड़ी किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं की जाएगी और गड़बड़ी करने वाले का पोषाहार रोकना इलाज नहीं है। उन्होंने कहा है कि पोषाहार वितरण में गड़बड़ी करने वाले आंगनबाड़ी केन्द्रों को सीधे रद करने की कार्रवाई करें।
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आइसीडीएस डीपीओ से पोषाहार बंद किए जाने का विस्तृत प्रतिवेदन मांगा गया है। पोषाहार वितरण में गड़बड़ी पाए जाने पर सेविका को चयन मुक्त किया जाएगा।
- धर्मेन्द्र कुमार, डीएम