जीबी कॉलेज में संविधान दिवस पर कार्यशाला आयोजित
- एनसीसी कैडेट्स रामगढ़ द्वारा संचालित था कार्यक्रम - वक्ताओं ने संविधान से लेकर न्यायिक बिदु पर चर्चा की।
- एनसीसी कैडेट्स रामगढ़ द्वारा संचालित था कार्यक्रम
- वक्ताओं ने संविधान से लेकर न्यायिक बिदुओं पर रखा विचार
कैमूर: स्थानीय जीबी कॉलेज में शुक्रवार को संविधान दिवस के मौके पर एक दिवसीय कार्यशाला आयोजित हुई। जिसमें 1950 से लेकर अब तक के संविधान प्रदत्त अधिकारों व कर्तव्यों का बोध कराया गया। इस कार्यशाला का श्रीगणेश संयोजक जीबी कॉलेज की एएनओ डॉ मधुलता शुक्ला द्वारा किया गया। मुख्य वक्ता ब्रशर डॉ राधेश्याम सिंह ने संविधान दिवस के मौके पर छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि यह लोगों के मौलिक अधिकार है। जिससे समाज के सभी वर्गों को अधिकार दिया गया है। इसके नियम कानून व व्याख्या से लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा होती है। इसलिए हम सब संविधान के नियम व उसके दायित्व का बखुबी रुप से निर्वहन करेंगे। तभी इसकी सार्थकता सिद्ध होगी। समाजशास्त्र के प्राध्यापक मनीष कुमार ने छात्र छात्राओं के बीच संविधान के मूल ढांचा को बड़े ही बारिकी से रखा तथा कहा कि संविधान के निर्माण में देश के बड़े बड़े महापुरुषों ने अपना योगदान दिया। जिसमें न्यायपालिका से लेकर कार्यपालिका तक के अधिकार निहित हैं। आज देश लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा इसी संविधान से होती है। चंद्रभूषण सिंह ने भी अपने तरीके से संविधान में दिए गए अधिकार व उसके उद्देश्यों को तर्कसंगत बताया। कार्यशाला की संयोजक एएनओ डॉ. मधुलता शुक्ला ने धन्यवाद ज्ञापन करते हुए कहा कि हमारे देश के संविधान व अन्य राष्ट्रों के संविधान में काफी भिन्नता है। यहां सभी लोगों को सम्मान अधिकार दिया गया है। जिससे लोगों को उनके अधिकार व कर्तव्य के दायित्व का बोध स्वयं हो जाता। जिससे मनुष्य अपनी रक्षा स्वयं कर सकता है। उन्होंने एनसीसी कैडेट्सों को धन्यवाद दिया तथा उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की। इस दौरान कार्यशाला में उपस्थित सभी लोग मास्क लगाए हुए थे।