टेंपो चालकों की हड़ताल से मुसाफिरों की बढ़ी मुश्किलें, पैदल यात्रा को हुए मजबूर
दरभंगा। मांगों के समर्थन में ऑटो चालकों की हड़ताल दूसरे दिन बुधवार को भी जारी रही।
दरभंगा। मांगों के समर्थन में ऑटो चालकों की हड़ताल दूसरे दिन बुधवार को भी जारी रही। इससे शहर के आस-पास के इलाकों में आने-जाने वाले यात्रियों को काफी परेशानियों को सामना करना पड़ा। कई लोग ऑटो के लिए इधर-उधर भटकते रहे। कई महिलाएं अपने गोद में बच्चा लिए कई किमी तक पैदल चलती रही। किसी ने बस स्टैंड तक जाने के लिए बाइक का सहारा लिया तो किसी ने रिक्शा का। टेंपो का परिचालन बंद रहने से एका-दुक्का मैजिक दौड़ती नजर आई, जिसके ऊपर लोग अपनी जान हथेली रखकर सफर करते दिखे। हालांकि, अधिकांश लोग पैदल ही मंजिल की तरफ बढ़ते रहे। दरभंगा जंक्शन, कादिराबाद और दिल्ली मोड़ बस स्टैंड में पहुंचे यात्रियों को सबसे ज्यादा पीड़ा का सामना करना पड़ा। न तो टेंपो मिल रही थी और न ही खाली रिक्शा। आटो रिक्शा नहीं चलने से यात्रियों की तो फजीहत हुई साथ में मरीजों और परीक्षार्थियों को भी परेशानी कर सामना करना पड़ा। डिस्टेंस की परीक्षा रहने के कारण अधिकांश परीक्षार्थी पैदल दौड़ते नजर आए।
चालक संघ ने किया प्रदर्शन :
मांगों के समर्थन में चालक संघ ने जगह-जगह प्रदर्शन किया। 15 सूत्री मांग पूरी नहीं होने पर भारतीय ऑटो रिक्शा मजदूर संघ ने उग्र आंदोलन करने की चेतावनी दी। जिलाध्यक्ष प्रमोद चौधरी, जिला मंत्री विनोद चौधरी, कैलाश यादव, संतोष झा, छप्पन साह, श्रवण साह आदि के नेतृत्व में डीएम और एसएसपी कार्यालय होते प्रदर्शन किया गया। वापसी के दौरान लोहिया चौक पर हड़तालियों ने सदर एसडीपीओ अनोज कुमार को ज्ञापन सौंपा। हड़ताल का समर्थन ई-रिक्शा संघ ने भी किया था। इसके कारण आंदोलन में ई-रिक्शा चालक भी शामिल था। इधर, दिल्ली मोड़ के पास टेंपो चालकों ने रिक्शा चालकों और टमटम संचालकों के साथ बदमाशी की। वे यात्रियों को बैठाने का विरोध कर रहे थे। इस कारण काफी देर तक अफरा-तफरी का माहौल बना रहा। हड़ताल के दूसरे दिन भी आंदोलनकारियों से प्रशासनिक स्तर पर कोई पहल नहीं की गई। यही कारण रहा कि शहर में बस और ऑटो का परिचालन नहीं हो पाया। संघ ने जल्द मांगे नहीं मानने पर आंदोलन तेज करने की चेतावनी दी है। इधर, प्रशासन ने हड़ताल को आटो चालकों की हठधर्मिता का नतीजा बताया है। चालकों ने बताया कि शहर में करीब एक हजार ऑटो चलती है। प्रशासन ऑटो चालकों को प्रताड़ित करने का काम करती है। ट्रैफिक पुलिस अवैध वसूली करती है। मात्र 16 किमी का परमिट दिया जाता है, जो नियम संगत नहीं है।
चालकों ने दिखाई एकजुटता :
लंबे दिनों के बाद टेंपो चालकों ने एकजुटता का परिचय दिया। सभी चालकों ने भारतीय ऑटो रिक्शा मजदूर संघ के आहृवान पर परिचालन ठप कर दिया। हड़ताल के कारण कई चालकों ने गैराज में जाकर अपनी टेंपो को लगा दिया।
बच्चों व महिलाओं को हुई परेशानी : हड़ताल से सर्वाधिक परेशानी महिला यात्रियों व बच्चों को झेलनी पड़ी। बैचलर यात्री तो जैसे तैसे सफर कर घर व मंजिल तक पहुंचे। लेकिन, बच्चे व सामान के साथ यात्रा कर बस स्टैंड व रेलवे जंक्शन तक पहुंचने वाले यात्रियों को टेंपो के हड़ताल से खासी परेशानी का सामना करना पड़ा।