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निगम प्रशासन की लचर व्यवस्था से शहर में लगता घंटों जाम

दरभंगा। शहर में आए दिन चौक-चौराहों पर लगने वाले जाम की समस्या का प्रमुख कारण कचरा उठ

By JagranEdited By: Published: Thu, 01 Oct 2020 12:58 AM (IST)Updated: Thu, 01 Oct 2020 05:04 AM (IST)
निगम प्रशासन की लचर व्यवस्था से शहर में लगता घंटों जाम

दरभंगा। शहर में आए दिन चौक-चौराहों पर लगने वाले जाम की समस्या का प्रमुख कारण कचरा उठाव है। जी हां, शहरी क्षेत्र के विभिन्न चौक-चौराहों पर दिन के 10 से 12 बजे के बीच सड़क के बीचोबीच जेसीबी और ट्रैक्टर खड़ी कर कचरे का उठाव किया जाता है। यह वक्त लोगों के ऑफिस जाने का होता है। लिहाजा, सड़कों पर भीड़-भाड़ होती है। इसी दौरान कचरे का भी उठाव होता है। इसके कारण घंटों लोगों को जाम से जूझना पड़ता है। बेचारी पुलिस, भाग-भाग कर किसी तरह सड़क के दोनों तरफ वाहनों को अपनी लाइन में खड़े रहने का इशारा करती है। लेकिन, ऑफिस पहुंचने की जल्दबाजी में लोग आड़े-तिरछे किसी तरह गाड़ी निकालने का जुगाड़ खोजते रहते है। इसके कारण जाम की समस्या बढ़ जाती है। इस समस्या से लोगों को रोजाना जाम से दो-चार होना पड़ रहा है। हालांकि, जाम की समस्या से निपटने के लिए वरीय पुलिस अधीक्षक बाबू राम ने पहल की और पुलिस के कई जवानों की डूयूटी विभिन्न चौक-चौराहों पर लगा दी। लेकिन, जिस कारण शहर में जाम की समस्या बनी हुई है, वह विभाग चैन की बंसी बजा रहा है। निगम की कार्यशैली से शहरवासी आहत, आइएएस अधिकारी से उम्मीद

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नगर निगम की कार्यशैली से शहरवासी काफी आहत है। लोगों की मानें तो ना तो वार्डों से नियमित कचरे का उठाव होता है। नहीं सड़कों की सफाई होती है। शहर के व्यस्ततम चौक दोनार, अल्लपट्टी, भंडार चौक, कादिराबाद, शिवधारा सहित अन्य स्थानों दिन के 11-12 बजे कचरे का उठाव आम बात है। कोई देखने और सुननेवाला नहीं है। सरकार ने नगर निगम की लचर व्यवस्था में सुधार लाने के उद्देश्य से आइएएस अधिकारी की नियुक्ति की। लेकिन, व्यवस्था सुधारने की बजाय बिगड़ती ही जा रही है। दरभंगा नगर निगम को तीन आइएएस मिले। कुछ हद तक तत्कालीन नगर आयुक्त आइएएस महेंद्र कुमार के समय में स्थिति में सुधार दिखा। लेकिन, उसके बाद स्थिति बिगड़ती रही। नए नगर आयुक्त आइएएस मनेश कुमार मीणा से शहरवासियों को कुछ उम्मीद थी, लेकिन स्थिति में सुधार नहीं दिख रहा है। पुरानी पद्धति से ही कचरे का उठाव किया जा रहा है। जबकि, साफ-सफाई के नाम पर लाखों का भुगतान प्रति महीने किया जा रहा है। ऐसे में सबसे बड़ा सवाल यह है कि आखिर सफाई कर्मियों की इतनी बड़ी फौज और अत्याधुनिक संसाधनों का क्या फायदा। इन स्थानों पर लगता जाम

शिवधारा

कादिराबाद

दोनार चौक

अल्लपट्टी

बेंता चौक

हजमा चौराहा

दारुभट्ठी चौक

नाका पांच

मिर्चापुर

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