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मानक की अनदेखी से जानलेवा साबित हो रहे रोड डिवाइडर

रखरखाव के अभाव में शहर के विभिन्न चौक-चौराहों पर बने रोड डिवाइडर जानलेवा साबित हो रहे हैं। अंधेरा होने के बाद अक्सर इन डिवाइडर से टकराकर वाहन दुर्घटनाग्रस्त हो जाते हैं।

By JagranEdited By: Published: Wed, 10 Jul 2019 06:37 AM (IST)Updated: Fri, 12 Jul 2019 06:30 AM (IST)
मानक की अनदेखी से जानलेवा साबित हो रहे रोड डिवाइडर
मानक की अनदेखी से जानलेवा साबित हो रहे रोड डिवाइडर

दरभंगा। रखरखाव के अभाव में शहर के विभिन्न चौक-चौराहों पर बने रोड डिवाइडर जानलेवा साबित हो रहे हैं। अंधेरा होने के बाद अक्सर इन डिवाइडर से टकराकर वाहन दुर्घटनाग्रस्त हो जाते हैं। शहर के विभिन्न चौक-चौराहों पर सुचारू यातायात व्यवस्था बनाए रखने के लिए सभी डिवाइडर बनाए गए थे। लोगों की सुरक्षा के लिए बनाए गए ये डिवाइडर दुर्घटना का सबब बन चुके हैं। रखरखाव का अभाव व मानकों की अनदेखी इसकी मुख्य वजह है। अक्सर अंधेरा होने के बाद इन पर चढ़कर वाहन दुर्घटनाग्रस्त हो जाते हैं। लोगों की जान जाने तक की आशंका बनी रहती है। बावजूद, निगम प्रशासन सुरक्षा के मानक के प्रति संजीदा नहीं है। दोनार, अल्लपट्टी, कर्पूरी चौक पर रखरखाव के अभाव व मानकों की अनदेखी कर बनाए गए इन डिवाइडर पर चढ़कर कई वाहन दुर्घटनाग्रस्त हो चुके हैं। नगर अभियंता रतन किशोर वर्मा का कहना है कि जल्द ही सभी को दुरुस्त करा दिया जाएगा। उड़ चुका है डिवाइडर का पेंट :

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रोड डिवाइडर पर लगाया गया सफेद व पीला रंग का पेंट कब का उड़ चुका है। इन डिवाइडरों पर रेडियम लगाया ही नहीं गया है। साथ ही डिवाइडर के किनारा वाहनों से टकराकर क्षतिग्रस्त हो चुका है। शहरी क्षेत्र में यातायात व्यवस्था को सुचारू रखने के लिए 2014 में रोड डिवाइडर बनाने का निर्णय लिया गया था। लहेरियासराय टॉवर, लोहिया चौक, अल्लपट्टी, दोनार, बेला, बाघ मोड़, दरभंगा टॉवर पर इसका निर्माण कराया गया। कई जगहों पर डिवाइडर बन ही नहीं सका। जहां बनाए भी गए वहां भी रखरखाव नहीं किया गया। इस वजह से अधिकांश की स्थिति जर्जर हो गई। पूर्व पार्षद प्रदीप गुप्ता का कहना है कि न तो रोड डिवाइडर को मानक के अनुरूप ही बनाया गया और ना ही रखरखाव किया जाता है। सभी का प्रत्येक 6 माह में रंग-रोगन होना चाहिए। साथ ही रेडियम लगाना चाहिए। रखरखाव के अभाव में रोड डिवाइडर आमजन के लिए जानलेवा साबित हो रहे हैं। रोड डिवाइडर चढ़कर क्षतिग्रस्त हो चुके वाहन :

क्षतिग्रस्त हो चुके इन रोड डिवाइडरों पर चढ़कर कई वाहन दुर्घटनाग्रस्त हो चुके हैं। लगभग छह माह पूर्व सीतामढ़ी पुलिस की एक गाड़ी दुर्घटनाग्रस्त होने से बाल-बाल बच गई थी। अचानक डिवाइडर पर नजर पड़ने के बाद चालक ने ब्रेक लगाया था। अचानक ब्रेक लगाए जाने से पुलिस की गाड़ी घूमकर बगल के एक दुकान में घुस गई थी। संयोग था कि कोई गाड़ी की चपेट में नहीं आया था। इसके अलावा अक्सर दोपहिया वाहन चालक डिवाइडर से टकराकर जख्मी हो जाते हैं। वहीं, चारपहिया वाहन डिवाइडर पर चढ़कर दुर्घटना का शिकार होते हैं।


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