Move to Jagran APP

छेड़खानी का विरोध करने पर हुई थी RJD विधायक की बहन की हत्‍या, दोषियों को मिली ये सजा

दो साल पहने छेड़खानी का विरोध करने पर राजद विधायक की बहन की अपराधियों ने हत्‍या कर दी थी। इस मामले में कोर्ट ने तीन को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है।

By Ravi RanjanEdited By: Published: Tue, 24 Apr 2018 01:30 PM (IST)Updated: Wed, 25 Apr 2018 10:37 PM (IST)
छेड़खानी का विरोध करने पर हुई थी RJD विधायक की बहन की हत्‍या, दोषियों को मिली ये सजा
भोजपुर [जेएनएन]। बिहार के भोजपुर जिले के बड़हरा के राजद विधायक सरोज यादव की बहन शैल देवी की हत्या करने के एक मामले में चतुर्थ अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश राजेश कुमार ने मंगलवार को तीन आरोपियों को सश्रम उम्रकैद की सजा सुनाई। इसके अलावा अर्थदंड भी लगाया गया।
अभियोजन पक्ष की ओर से अपर लोक अभियोजक ददन श्रीवास्तव व अधिवक्ता विश्वनाथ पाठक ने बहस किया था। अभियोजन पक्ष के एक अधिवक्ता शंभु शरण ने बताया कि 9 अप्रैल 2016 को कृष्णगढ़ थाना के शरदापुर-इंगलिश गांव निवासी नागेन्द्र यादव की पत्नी शैल देवी फलेरिया की दवा के लिए चांदी बाजार स्थित शंकर दवाखाना गई थी। घर लौटने के लिए मिथिलेश कुमार के ऑटो पर सवार हुई थी।
उसी ऑटो पर नरबीरपुर गांव का सन्तोष सिंह व सुधीर महतो भी सवार हुआ था। रास्ते में चांदी व बहियारा के बीच तीनों ने शैल दवी के साथ छेडख़ानी करने लगे थे। छेडख़ानी का विरोध करने पर शैल देवी उर्फ चमकीला देवी की लोहे के रॉड से पिटाई कर दी गयी थी। सदर अस्पताल,आरा में प्राथमिक उपचार के बाद उसे बेहतर इलाज के लिए पीएमसीएच,पटना रेफर कर दिया गया था।
करीब चार रोज बाद 13 अप्रैल को विधायक की बहन की मौत हो गई थी। एपीपी श्री श्रीवास्तव ने बताया कि अभियोजन की ओर कोर्ट में नौ गवाहों की गवाही हुई थी। सजा की बिंदू पर सुनवाई के बाद चतुर्थ अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश राजेश कुमार ने दोषी पाते हुए आरोपी चांदी-नरबीरपुर निवासी मिथिलेश कुमार, सन्तोष सिंह व सुधीर महतो को भादवि की धारा 302/34 के तहत सश्रम उम्रकैद की सजा सुनाई। इसके अलावा दस-दस हजार रुपया अर्थदण्ड भी लगाया गया। धारा 354 ए के तहत दो- दो वर्ष सश्रम कैद व तीन- तीन हजार रुपया अर्थदण्ड की सजा अलग से सुनाई गयी।
करीब 17 महीने चला ट्रायल तब आया फैसला
राजद विधायक की बहन की हत्या के मामले में करीब 17 महीनेे तक ट्रायल चला। जिसके बाद मंगलवार को फैसला आया। बताया जा रहा कि नवंबर 2016 से इस केस में ट्रायल शुरू हो गया था। इसकेे बाद इस केस में एक-एक कर नौ गवाहों की गवाही गुजरी। ट्रायल के दौरान कोर्ट ने आरोप को सही माना। जिसके बाद अलग-अलग सेक्शनों में दोषी पाते हुए सजा सुनायी गयी। हालांकि, आरोपियों के परिजन कोर्ट के इस फैसले के खिलाफ ऊपरी अदालत में जाने की तैयारी की है।
छेडख़ानी के दौरान, शैल बोली थी, मैं एमएल की बहन हूं, फिर भी रॉड से कर दिया था हमला
आपको बताते चलें कि चांदी के बहियरा इलाके में छेडख़ानी के दौरान शैल देवी ने आरोपियों से कहा था कि वह बड़हरा के राजद विधायक सरोज यादव की बहन है। जिसके बाद अप्राथमिक अभियुक्तों ने लोहे के रॉड से हमला कर यह कहा था कि केस में फंसा देगी इसलिए मार डालो। जिसके बाद बदमाशों ने लोहे की रॉड से मारकर शैल देवी को गंभीर रूप से घायल कर दिया था। सिर में गंभीर रूप से घायल विधायक की बहन ने बाद में दम तोड़ दिया था।
बेटे कृष्णा ने अज्ञात पर किया था एफआईआर, अनुसंधान में आया था नाम
इधर, छेडख़ानी के दौरान मां शैल देवी पर हमले की घटना को लेकर बड़े बेटे कृष्णा यादव ने अज्ञात के विरूद्ध चांदी थाना में केस दर्ज कराया था।
घायल शैल देवी के बड़े बेटे कृष्णा यादव ने चांदी थाना में बताया था कि ऑटो के चालक एवं उस पर सवार चार-पांच लोग उसके साथ अभद्र व्यवहार कर रहे थे। जब उसकी मां ने कहा कि वह विधायक की बहन है। तब आरोपियों ने यह कहकर उन पर लोहे के रॉड से हमला कर दिया था कि केस में फंसा देगी। इसलिए हत्या कर देते हैं। कृष्णा यादव ने बताया कि रॉड से सिर पर हमला करने के बाद मेरी मां को सड़क किनारे फेंक दिया गया था।
इस मामले में चांदी थाना के नरबीरपुर निवासी ऑटो चालक मिथलेश कुमार, संतोष सिंह के विरुद्ध नामजद प्राथमिकी दर्ज करायी गई थी। शैल देवी की मौत के साथ ही छेडख़ानी एवं हत्या के प्रयास का यह मामला हत्या में तब्दील हो गया था। बड़हरा के राजद विधायक सरोज यादव की बहन शैल देवी की हत्या के मामले में नामजद दो आरोपितों ने आरा सिविल कोर्ट में तेरह अप्रैल 2016 को सरेंडर किया था। जिसके बाद पुलिस ने दोनों को रिमांड पर लिया था।
राजद विधायक सरोज बोले, हाईकोर्ट में जाऊंगा
बड़हरा के राजद विधायक सरोज यादव ने बहन की हत्या के मामले में फैसला आने के बाद कहा कि मैं कोर्ट के फैसले का सम्मान करता हूं। लेकिन,जिस तरह बेरहमी से उनकी बहन की हत्या की गई थी उस तरह के मामले में फांसी की सजा होनी चाहिए। वे आरोपियों को फांसी की सजा दिलाने के लिए पटना हाईकोर्ट में जाएंगे। आपको बताते चलें कि छेडख़ानी के दौरान बहन पर हुए हमले के बाद राजद विधायक समर्थकों के साथ रोड पर उतर गए थे। घटना के चौथे दिन यानि 13 अप्रैल को कायमनगर बाजार पर आरा-पटना राजमार्ग को जाम कर दिया गया था। उसी समय राजद विधायक के फोन पर घायल बहन के अस्पताल में दम तोड़े जाने की सूचना आई थी। 
सास ने कहा: फांसी की सजा होनी चाहिए
इधर, कोर्ट का फैसला आने के बाद शैल देवी के ससुराल शारदापुर-इंगलिश गांव में खुशी देखी गयी। सास सोनामती कुंवर ने कहा कि वह कोर्ट के फैसले से खुश है। लेकिन, आरोपियों को फांसी की सजा होती तो अच्छा होता। क्योंकि समाज के गंदे लोगों से हमेशा भय बना रहता है। हमारे परिवार के साथ जो घटना घटित हुई है, ऐसी घटना किसी और परिवार के साथ नहीं हो। हमारे परिवार में किसी से कोई दुश्मनी नही था। फिर न जाने क्यों ऐसी घटना हुई। मृतक के पति नागेन्द्र यादव गुजरात में गाड़ी चलाते है। उन्हीं के साथ छोटा पुत्र उपेन्द्र यादव रहता है।

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.