जमुई में डायरिया का प्रकोप: नवजात समेत तीन की मौत, 50 से ज्यादा ग्रसित
जमुई में डायरिया का प्रकोप बढ़ गया है। बीमारी की चपेट में तीन की मौत हो गई जबकि 50 से ज्यादा लोग संक्रमित हैं। अल्पसंख्यक बाहुल्य रामडीह गांव में सबसे ज्यादा लोग संक्रमित बताए जा रहे हैं। वहीं कोरोना की तीसरी लहर को लेकर भी चर्चाएं तेज हो गई हैं।
संवाद सूत्र, जमुई। जिले के झाझा प्रखंड के कई गांवों के लोग डायरिया की चपेट में आकर बीमार पड़ चुके हैं। अब तक डायरिया से एक नवजात समेत तीन की मौत हो चुकी है। जबकि 50 से अधिक लोग अभी भी इससे ग्रसित हैं। डायरिया के प्रकोप पर स्वास्थ्य विभाग कुछ भी बताने को तैयार नहीं है। बताया जाता है कि अल्पसंख्यक बाहुल्य रामडीह, घोरिकबा एवं बलियो गांव में डायरिया का प्रकोप ज्यादा है। रविवार को स्वास्थ्य विभाग की टीम रामडीह गांव पहुंच स्थिति की जानकारी ली।
रामडीह गांव में डायरिया की चपेट में आकर मो. सिराज अंसारी का नवजात पुत्र, करमा गांव के 40 वर्षीय जलाल एवं 26 वर्षीय गुड़िया खातुन की मौत हो चुकी है। बोड़वा पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि जिबरेल अंसारी ने बताया कि गांव में हालात काफी खराब है। स्वास्थ्य विभाग को सूचना देने के बावजूद इस ओर कोई पहल नहीं किया गया। ग्रामीण भगवान भरोसे निजी क्लीनिक में इलाज कराने को विवश हैं।
प्रत्येक घर में ग्रामीण चिकित्सकों के सहयोग से इलाज चल रहा है। गांव के मो मुबारक की पुत्री करीना खातुन(8), सकीना खातुन(6), महफूज के पुत्र जाहीर अंसारी(6) एवं पुत्री खातुन (4), मु फारूक के पुत्र रेहान अंसारी (8) एवं कामरान अंसारी(6), रूस्तम की पुत्री हूजेफा खातुन(6) एवं उजमा हमात( 10), अलाउद्धीन के पुत्र तबरेज अंसारी(10), सकील के पुत्र मु दिलशान(6), मु कादीर की पुत्री आफरीन खातुन(12), इजराइल के पुत्र फुरकान अंसारी(8), साजीद की पुत्री मनत्तसा खातुन(5) के अलावा गांव के वृद्ध में से जमालउद्दीन, उमर अंसारी, लजीना खातुन, मुसन अंसारी, अजहर अंसारी, अफसाना खातुन, तबस्सुम खातुन, तमन्ना खातुन आदि कई लोग डायरिया से ग्रसित हैं।
कोरोना की तीसरी लहर का संकेत तो नहीं?
रामडीह गांव में कोरोना के टीकाकरण का कार्य हुआ है लेकिन कई लोग अभी भी कोरोना के टीका से वंचित हैं। बताया जाता है कि तीसरी लहर में कोरोना का लक्षण डायरिया एवं बुखार में भी देखा गया है। डायरिया से पीडि़त लोगों का कोरोना जांच नहीं हुआ है। अस्पताल प्रबंधक गजेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि किसी की मौत होने की कोई सूचना नहीं है। अगर किसी की मौत हुई भी है तो वह निजी क्लीनिक में हुआ होगा। डायरिया होने की सूचना जहां से मिल रही है। वहां पर मेडिकल टीम को भेजा जा रहा है। डायरिया से ठीक होने के बाद सभी मरीजों का कोरोना जांच कराया जाएगा।
पहुंची तीन सदस्यीय डाक्टर की टीम
अस्पताल प्रबंधक के अनुसार रामडीह गांव में ज्यादा मरीज रहने के कारण तीन चिकित्सक को गांव में तैनात किया गया है। जिसमें डा. सदाब अहमद, डा. नौशाद, डा. रवि रंजन के अलावा एएनएम एवं स्वास्थ्य कर्मी की टीम शामिल है। टीम प्रत्येक घर की जांच करने के बाद दवा सहित अन्य सुविधा प्रदान करेगी। डा. सदाब अहमद ने बताया कि गंदगी के कारण डायरिया का प्रकोप बढ़ता है। सभी लोगों को दूषित पानी से बचने एवं खाना के संदर्भ में जानकारी दी गई।