MS Dhoni Retires: भागलपुर से बदला था धोनी का भाग्य, यहीं लगाया था पहला हेलीकॉप्टर शॉट
MS Dhoni Retires धोनी का भागलपुर से बेहद खास लगाव रहा है। उनका चयन भारतीय टीम में उस समय हुआ जब वे भागलपुर में बेहतरीन पारी खेलकर गए थे। भागलपुर से ही उनका भाग्य बदला है।
भागलपुर, जेएनएन। MS Dhoni Retires: भारतीय टीम के सफल कप्तान महेंद्र सिंह धोनी का हेलीकॉप्टर शॉट आज भी भागलपुर वासियों को याद है। 2004 मेंं भागलपुर के सैंडिस स्टेडियम में एसपी आरके मिश्रा ने सद्भावना कप कराया था। सद्भावना कप के दौरान धोनी ने पहला हेलीकॉप्टर शॉट लगाया था।
उनके साथ रनर छोर पर खड़े बासुकी नाथ मिश्रा ने बताया कि विपक्षी टीम के गेंदबाज की यॉर्कर गेंद पर धोनी ने यह शॉट खेला था। गेंद उस वक्त 250 मीटर का दायरा पार कर गया था। सर्किट हाउस व नवाबबाग कॉलोनी मार्ग तक गेंद पहुंचा दी। गेंद नहीं मिल पाई। फिर इन्होंने दूसरी गेंद पर भी लागऑन पर जबरदस्त छक्का मारा। दरअसल धोनी के साथ बासुकीनाथ विकेट के दूसरी ओर खेल रहे थे। धोनी ने कहा आप विकेट पर खड़े रहें, हम देख लेंगे। यह मैच उन्होंने अपने दम पर जीता था। भागलपुर में महेंद्र सिंह धोनी से जुड़ी कई यादें आज भी हैं।
18 छक्कों का गवाह बना था सैंडिस
सद्भावना कप का आयोजन सैंडिस में हुआ था। दिल्ली की टीम का प्रतिनिधित्व कर रहे धोनी ने वाराणसी के विरुद्ध 157 रन बनाए थे। 18 छक्के मारकर उन्होंने ट्रैकिंग पारी खेली थी। प्रतियोगिता के मैन ऑफ द सीरीज के खिताब से उन्हें सम्मानित किया गया था।
धोनी के लिए लक्की रहा सैंडिस स्टेडियम
महेंद्र सिंह धोनी के लिए सैंडिस स्टेडियम लक्की साबित हुआ। सद्भावना कप के सेमीफाइनल मैच के दौरान धोनी के भारतीय ए श्रेणी टीम शामिल होने की घोषणा हो गई थी। यह सुन गैलरी में बैठे दर्शक व आयोजकों में खुशी की लहर दौड़ गई। यहां से खेलने के बाद उनका पहला अंतरराष्ट्रीय मैच बंाग्लादेश के साथ हुआ। धोनी इससे पहले अंडर 16, 19 व हेमंत ट्रॉफी खेलने के लिए रांची टीम में शामिल होकर भागलपुर आ चुके हैं।
वेरायटी चौक पर चाय की चुस्की
भागलपुर में धोनी ने 10 दिनों का समय बिताया। खेल के बाद जब भी मौका मिला, बाइक से शहर भ्रमण को निकल जाया करते थे। वेरायटी चौक पर टीम के खिलाडिय़ों के साथ चाय की चुस्की लेने शाम को पहुंच जाते थे। आदर्श की मिठाइयां भी उनकी पसंद में शामिल थीं। प्रतियोगिता के दौरान भागलपुर क्रिकेट संघ के कोषाध्यक्ष सुबीर मुखर्जी से लस्सी भी मांगने पहुंच जाया करते थे। क्रिकेटर देवी शंकर ने बताया कि होटल के खाने से ऊब चुके धोनी ने घर में बने खाने की इच्छा जताई। देवी उनके लिए सत्तू के पराठे बनवाकर ले आए। स्टेडियम की गैलरी में बैठकर खिलाडिय़ों के साथ उन्होंने इसे खाया था।
कूल मैन को आया था गुस्सा
धोनी कोई मैच हारना नहीं चाहते थे। गुस्सा आता था, लेकिन मन में दबा कर रखता थे। सद्भावना कप में इंडियन एअर लाइंस से फाइनल में हारने पर गुस्सा आया था। इसमें 36 रन बनाकर धोनी आउट हो गए। उनके सहयोगी तारीकउर रहमान की वजह से रन वह आउट हो गए। उस मैच में पहली बार उन्होंने गुस्सा किया था। तारीकउर रहमान को गेंदबाजी में वह नहीं लगाना चाहते थे। खराब गेंदबाजी के कारण फाइनल में धोनी की टीम हार गई।