Naxalite : नक्सलियों पर सुरक्षाबलों की चोट, बादल की गिरफ्तारी से टूटा नक्सलियों का दाहिना हाथ
नक्सलियों के खिलाफ पुलिस बल ने बड़ी कार्रवाई की है। दो दिन पहले जमुई और चानन के सीमावर्ती क्षेत्र के जंगली इलाके से बादल को एसटीएफ ने गिरफ्तार किया था। वह झारखंड के रहने वाले हैं। पुलिस ने सख्ती से उससे पूछताछ की। पुलिस ने कई जानकारी मिली है।
जमुई, जेएनएएन। हार्डकोर नक्सली बादल उर्फ अख्तर अंसारी की गिरफ्तारी से नक्सलियों का दाहिना हाथ टूट चुका है। जमुई और चानन के सीमावर्ती क्षेत्र के जंगली इलाके से बादल को एसटीएफ ने गिरफ्तार किया था। वह झारखंड के गिरीडीह जिला अंतर्गत बेंगाबाद थाना क्षेत्र के लुप्पी गांव का निवासी है।
बादल नक्सली संगठन में पिछले एक दशक से सक्रिय था और नक्सली प्रवक्ता अविनाश उर्फ अरविंद जी के साथ साये की तरह रहता था। वह पिछले 10 साल से अपने घर तक नहीं गया। बादल इलाके के नक्सली संगठन का दाहिना हाथ माना जाता था। वह इनामी नक्सली अरविंद यादव का स्पेशल शूटर था। अरविंद पर होने वाले किसी भी हमले को रोकने की जिम्मेवारी बादल पर ही थी। 27 वर्षीय बादल के पास इंसास राइफल थी। कभी-कभी वह राइफल लेकर भी चलता था। जमुई के गिद्धेश्वर से लेकर चानन और लखीसराय के जंगली एरिया में उसकी तूती बोलती थी। उसे मिर्गी की बीमारी भी थी।
इसी कारण उसे कभी सेंट्रल कमेटी की बैठक में भाग लेने का मौका नहीं मिला। सूत्र बताते हैं कि बादल नक्सली संगठन से जुड़ी एक महिला सदस्य से प्रेम करता था और उससे विवाह करना चाहता था। संगठन के वरीय नेताओं की असहमति के कारण उसका यह सपना पूरा नहीं हो सका।
सूत्र यह भी बताते हैं कि बादल के परिवार का एक अन्य सदस्य भी नक्सलियों से जुड़ा हुआ है। दो साल पूर्व हार्डकोर नक्सली दरोगी यादव ने स्वीकार किया था कि वह बादल को कभी-कभार बाइक से छोडऩे जाता था।
लगातार पुलिसिया कार्रवाई से नक्सलियों में दहशत
जमुई, लखीसराय, मुंगेर और बांका जिलों में लगातार पुलिसिया कार्रवाई से नक्सली दहशत में आ गए हैं। मुुंगेर में हाल में नक्सलियों पर बड़ी कार्रवाई हुई थी। इसके अलावा लगातार नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में पुलिस कैंप करती है। वहां के लोगों को स्वरोजगार मुहैया कराई जा रही है। साथ ही ऐसे गांवों में शिक्षा के साधन उपलब्ध कराए जा रहे हैं।