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Durga Puja 2022: महाअष्टमी पर मंदिरों व पंडालों में उमड़ा आस्था का सैलाब, कहीं माता का जगराता तो कहीं महाआरती

Durga Puja 2022 बिहार के भागलपुर में आज महाअष्टमी के अवसर पर सुबह से ही मंदिरों व पंडालों में आस्था का सैलाब उमड़ रहा है। आज कहीं माता का जगराता है तो कहीं महाआरती का आयोजन हो रहा है।

By Jagran NewsEdited By: Amit AlokPublished: Mon, 03 Oct 2022 11:57 AM (IST)Updated: Mon, 03 Oct 2022 11:58 AM (IST)
Durga Puja 2022: महाअष्टमी पर मंदिरों व पंडालों में उमड़ा आस्था का सैलाब, कहीं माता का जगराता तो कहीं महाआरती
Durga Puja 2022: भागलपुर में धूमधाम से हो रही दुर्गा पूजा। सांकेतिक तस्‍वीर।

भागलपुर, संवाद सहयोगी। Durga Puja 2022: नवरात्रि के महाअष्टमी (Maha Ashtami) के दिन आज भागलपुर के मंदिरों और पूजा पंडालों में देवी के दर्शन-पूजन को आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा है। शहर से लेकर गांव तक के इलाके महाशिक्त देवी दुर्गा की आराधना में डूब गए हैं। आज कहीं माता का जगराता होगा तो कहीं ढ़ाक की थाप पर नृत्य संगीत और महाआरती का दौर चलेगा।

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अष्टमी के दिन मां को डलिया चढ़ाया जाता है। इसके पहले रविवार को मां के कालरात्रि स्वरूप की पूजा अलग-अलग विधि विधान से हुई। नवरात्रि में चारों ओर भक्ति और उत्साह का माहौल है।

मां के प्रतिष्ठित होते ही जीवंत हो उठे पंडाल

वेदी पर दुर्गा मां के स्थापित होते ही पंडाल जीवंत हो उठा है। शहर में अगल-अलग थीम पर पूजा-पंडालों को सजाया संवारा गया है। आदमपुर चौक पर कोलकाता हल्दिया का दुर्गा मंदिर, मारवाड़ी पाठशाला में अयोध्या का श्री राम मंदिर, बड़ी खंजरपुर में कर्नाटक का नंदेश्वर मंदिर, मुंदीचक गढ़ैया में केदारनाथ मंदिर, कचहरी चौक पर दक्षिणेश्वर काली मंदिर के स्वरूप का पंडाल लोगों को आकर्षित कर रहे हैं।

कहीं भंडारा तो कहीं सांस्कृतिक कार्यक्रम

भागलपुर दुर्गा बाड़ी के सचिव सुमित्रो मोइत्रा और मारवाड़ी पाठशाला जुबक संघ के सचिव बबन शाह ने बताया कि बांग्ला विधि-विधान से रविवार को मां की प्राण प्रतिष्ठा की गई। सत्कार क्लब कचहरी चौक पूजा समिति के धर्मेंद्र कुमार ने बताया कि यहां भंडारा का आयोजन किया गया है। मां को खिचड़ी और हलवा का भोग अलग-अलग दिनों में लगाया जाएगा। दुर्गा बाड़ी में सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। हाउसिंग बोर्ड कोलोनी में भजन संध्या का आयोजन किया गया। कालीबाड़ी में हांडी का भोग लगा प्रसाद वितरित किया गया।

मां को डलिया व खोइंछा का होगा अर्पण

नाथनगर, मंदरोजा, परबती, साहेबगंज, कंपनीबाग, मंदरोजा, लहेरीटोला, छितून सिंह अखाड़ा हड़ियापट्टी, उर्दू बाजार, तिलकामांझी हटिया, मां वैष्णो दरबार मुंदीचक, ईश्वरनगर, इशाकचक, मिरजानहाट, मानिकपुर, मोहद्दीनगर, रौशनचक, हुसैनाबाद, गुड्हट्टा चौक, खलीफाबाग, जोगसर मैन रोड, लाजपत पार्क, छोटी खंजरपुर स्थित राष्ट्रभाषा पुस्तकालय, आदमपुर, मायागंज, बरारी बड़गाछ, रिफ्यूजी कोलोनी नेताजी सुभाष बोस, स्वामी विवेकानंद नवयुग संघ बरारी, सूर्यलोग कोलोनी आदि जगहों पर प्रतिमाएं स्थापित की गई हैं। तिलकामांझी महावीर मंदिर के आचार्य पं. आनंद झा ने बताया कि महाअष्टमी पर श्रद्धालुओं द्वारा सुबह से शाम चार बजे तक मां को डलिया और खोइंछा अर्पित किए जाएंगे।

छह अक्टूबर को होगा प्रतिमा का विसर्जन

ज्योतिषाचार्य पंडित सचिन कुमार दुबे बताया कि रविवार को सप्तमी पूजा के दिन मां की प्राण-प्रतिष्ठा हुई। आज महाष्टमी है। चार अक्टूबर को नवमी के दिन कुंवारी कन्या का पूजन होगा। पांच अक्टूबर को विजयादशमी है। इस दिन अपराजिता पूजन व कलश का विसर्जन होगा। छह अक्टूबर को एकादशी के दिन प्रतिमा  विसर्जन होगा।


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