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अस्पताल में पड़ा रहा बालक का शव, सोते रहे चिकित्सक

अररिया। रातभर सदर अस्पताल परिसर में ऑटो पर बालक का शव पड़ा रहा। परिजनों का चीख- ची

By JagranEdited By: Published: Fri, 20 Jul 2018 11:53 PM (IST)Updated: Fri, 20 Jul 2018 11:53 PM (IST)
अस्पताल में पड़ा रहा बालक का शव, सोते रहे चिकित्सक
अस्पताल में पड़ा रहा बालक का शव, सोते रहे चिकित्सक

अररिया। रातभर सदर अस्पताल परिसर में ऑटो पर बालक का शव पड़ा रहा। परिजनों का चीख- चीत्कार गूंजती रही, बावजूद स्वास्थ्य कर्मियों की नींद नहीं टूटी। डयूटी पर चिकित्सक राजेश कुमार मच्छरदानी तानकर सोते रहे। मामला सदर अस्पताल का है। गुरुवार को 12 घंटे के बाद शव का पोस्टमार्टम कराया गया। रातभर परिजन अस्पताल के बाहर शव के पास विलाप करते रहे।

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जानकारी के अनुसार बुधवार को नरपतगंज भावनीपुर वार्ड संख्या चार के निवासी अर¨वद रॉय का पांच साल का पुत्र विष्णु रॉय की मौत संदिग्ध अवस्था में हो गई। नरपतगंज पुलिस शव को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल अररिया भेज दिया। शाम करीब सात बजे ऑटो से परिजनों द्वारा शव लेकर सदर अस्पताल पहुंचे। डयूटी पर तैनात चिकित्सकों ने नियम का हवाला देते हुए दूसरे दिन शव का पोस्टमार्टम कराने की बात कही। हद तो तब हो गई जब स्वास्थ्य कर्मियों ने परिजनों को शव के साथ अस्पताल भवन के अंदर रात बीताने की भी अनुमति नहीं दी गई। परिजनों को अस्पताल के बाहर खुले आसमान ऑटो पर शव के साथ रात गुजारना पड़ा। मृत बालक के समीप परिजन रातभर विलाप करते रहे, परंतु स्वास्थ्य विभाग के कर्मियों को दया नहीं आई। दूसरे दिन गुरुवार की सुबह साढ़े आठ बजे शव का पोस्टमार्टम कराया गया। - चिकित्सक की लापरवाही से गई बालक की जान मृत बालक के पिता अर¨वद रॉय ने बताया कि पंच वर्षीय पुत्र को अचानक पेट में दर्द हुआ, तुरंत उपचार के लिए फारबिसगंज रेफरल अस्पताल के चिकित्सक अशुतोष कुमार के निजी क्लीनिक पहुंचे। कंपाउंडर ने फीस जमा ले लिया।बालक के पेट में दर्द बढ़ता ही जा रहा था, लेकिन एक घंटे गुजरने के बाद भी डॉक्टर ने बालक का उपचार शुरू नहीं किया, इसी दौरान बालक की मौत हो गई। नरपतगंज पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम को सदर अस्पताल अररिया भेजा दिया। सात बजे संध्या अस्पताल में पहुंचे लेकिन सदर अस्पताल के चिकित्सकों ने कहा कि रात में पोस्टमार्टम नहीं होता है। अस्पताल में रहने नहीं भी नहीं दिया और अस्पताल से बाहर कर दिया। कोट- सरकारी आदेश के अुनसार रात्रि ड्यूटी के दौरान यदि रोगी नहीं हो तो चिकित्सक आराम कर सकते हैं। संध्या के बाद विशेष परिस्थिति में डीएम के आदेश के बाद ही पोस्टमार्टम कराया जा सकता है। बिना डीएम के निर्देश के शाम के बाद पोस्टमार्टम नहीं हो सकता है। शव पहुंचने के बाद मामले की जानकारी डीएस को दे दी गई थी। -डॉ. राजेश कुमार, चिकित्सक सदर अस्पताल, अररिया


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