तार चढ़ाने के दौरान मिस्त्री जख्मी, अस्पताल में भर्ती
जल और श्रम की इस धरती पर संभावनाओं की कमी नहीं है। इसी सोच के तहत शायद कटैया में पनबिजली उत्पादन की व्यवस्था की गई। लेकिन विभागीय उदासीनता और इच्छाशक्ति के अभाव के कारण यह परियोजना कभी अपने लक्ष्य को हासिल करने में सफल नहीं हो सकी। वहीं उत्तर बिहार को दुधिया रोशनी से जगमगाने और बिजली उत्पादन की महत्वपूर्ण परियोजना डगमारा परियोजना वर्षों से विभागीय औपचारिकता में ही फंसी हुई है।
संवाद सूत्र, सरायगढ़(सुपौल): सरायगढ़-भपटियाही प्रखंड के कल्याणपुर गांव में सोमवार के पूर्वाह्न खंभा पर बिजली का तार चढ़ाने के दौरान बिजली मिस्त्री शैलेंद्र पंडित को करंट लग गया। जिस कारण वह जख्मी हो गया। उसे जख्मी हालत में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र सरायगढ़-भपटियाही लाया गया जहां इलाज चल रहा है। रविवार की रात आंधी बारिश के कारण कल्याणपुर गांव में बिजली का तार नीचे गिर गया था। सोमवार के सवेरे इसकी जानकारी कनीय अभियंता बबलू कुमार को दी गई तो वेदानंद कुमार और शैलेंद्र पंडित नामक मिस्त्री को वहां भेजा गया। अस्पताल में जख्मी शैलेंद्र पंडित ने बताया कि बिजली के खंभा पर तार चलाने से पहले मिस्त्री वेदानंद कुमार द्वारा चांदपीपर पावर सब स्टेशन से शटडाउन लिया गया। लाइन बंद होने होने के बाद तार लेकर खंभा पर चढ़ा कि अचानक उसमें करंट प्रवाहित हो गया जिससे वह लड़खड़ा कर नीचे गिर गया। इस घटना के बाद गांव के कई लोग वहां पहुंच गए तथा बिजली विभाग के कर्मियों की लापरवाही का जमकर विरोध जताने लगे। पूछे जाने पर कनीय अभियंता ने बताया कि विभागीय मिस्त्री वेदानंद कुमार द्वारा शटडाउन लिया गया था लेकिन जब तार चढ़ाने का काम शुरू हुआ तो अचानक बिजली कैसे आई इसकी जांच की जा रही है। मालूम हो कि इससे पहले भी गढि़या गांव में शटडाउन लिए जाने के बाद भी बिजली प्रवाहित कर दी गई थी जिसके कारण स्थानीय लोगों ने नेशनल हाईवे को जाम कर जबरदस्त आक्रोश जताया था। उस घटना में कई लोग बाल-बाल बच गए थे।