सियाम को बजट से R&D प्रोत्साहन की उम्मीद, EV पार्ट्स के इपोर्ट पर मिलेगा सपोर्ट
सियाम ने सरकार से कहा है कि पिछले स्तर पर वेटेड टैक्स कटौती के रूप में रिसर्च एंड डेवेलपमेंट पर प्रोत्साहन को बहाल किया जाए
नई दिल्ली (पीटीआई)। बजट से पहले ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री बॉडी सियाम ने सरकार से कहा है कि पिछले स्तर पर वेटेड टैक्स कटौती के रूप में रिसर्च एंड डेवेलपमेंट पर प्रोत्साहन को फिर से शुरू किया जाए। अपने प्री-बजट की इच्छा सूची में सोसाइटी ऑफ इंडियन ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरर्स ने ईको फ्रेंडली टेक्नोलॉजी को बढ़ावा देने के लिए तरजीही टैरिफ सूची में कुछ आयातित इलेक्ट्रिक वाहन भागों को शामिल करने की भी मांग की है।
सियाम के डिप्टी डायरेक्टर जनरल सुगातो सेन ने कहा, "जब सरकार ने वेटेड टैक्स कटौती को कम कर दिया तब यह कहा गया था कि कॉर्पोरेट टैक्स की दर 30 फीसद से घटकर 25 हो जाएगी लेकिन ऐसा नहीं किया गया।"
2017-18 से रिसर्च एंड डेवेलप (R&D) के खर्च पर वेटेड कर कटौती 200% से घटा कर 150% कर दी गई है। उन्होंने कहा कि हमने सरकार से अनुरोध किया है कि अगर टैक्स की दर कम नहीं हुई तो वेटेड कटौती के माध्यम से R&D पर प्रोत्साहन को बढ़ाया जाना चाहिए।
सेन ने कहा कि इस तरह की आवश्यकता है क्योंकि भारत में कई ऑटोमोबाइल कंपनियां R&D के खर्चों पर काफी ज्यादा खर्च कर रही हैं। सेन ने इलेक्ट्रिक वाहनों पर कहा कि इपोर्टेड सिस्टम और कॉन्पोनेंट्स भारत में नहीं बनाए जाते। इन्हें अधिमान्य इपोर्ट टैरिफ सूची के तहत रखा जाना चाहिए।
सियाम की मांग भारत में इलेक्ट्रिक व्हीकल को बढ़ावा देने की है क्योंकि सरकार की 2030 तक भारत में सार्वजनिक परिवहन को 100 फीसद इलेक्ट्रिक और निजी वाहनों को 40 फीसद इलेक्ट्रिक बनाने की योजना है।