खुशखबरी: लॉकडाउन में वाहन की EMI भरने वालो को बैंक आज से देगा कैशबैक, जानें कितना आएगा आपके खाते में अमाउंट
जानकारी के लिए बता दें इस योजना पर अमल करते हुये सार्वजनिक क्षेत्र के एक बैंक से ग्राहक को संदेश भी भेजा गया है कि प्रिय ग्राहक कोविड-19 राहत अनुदान राशि तीन नवंबर को आपके खाते में डाल दी गई है।
नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। Auto Loan Cashback EMI: कोरोना वायरस के चलते भारत में बीते कुछ महीने से लॉकडाउन था। जिसके चलते ग्राहकों को बेरोजगारी का सामना करना पड़ा। हालांकि इस अवधि में बैंको ने ग्राहकों को राहत देते हुए लोन की ईएमआई को माफ किया। लेकिन जिन लोगों ने माफ होने के बावजूद ईएमआई देने का विकल्प चुना अब उन्हें बैंक कैशबैक ऑफर कर रहा है।
यानी अगर आपने इन 6 महीनो में अपने वाहन की लोन ईएमआई को नहीं रोका है, और तारीख पर पेय किया है, तो आपको बैंक द्वारा ब्याज पर कैशबैक दिया जाएगा। पिछले हफ्ते भारतीय रिज़र्व बैंक ने सभी लोन देने वाली संस्थाओं से यह सुनिश्चित करने के लिए कहा था कि दो करोड़ रुपये तक के लोन पर छह माह की रोक की अवधि के दौरान लिए गये ब्याज पर बैंक द्वारा पांच नवंबर तक अमल होना चाहिये।
जानकारी के लिए बता दें, इस योजना पर अमल करते हुये सार्वजनिक क्षेत्र के एक बैंक से ग्राहक को संदेश भी भेजा गया है कि, 'प्रिय ग्राहक कोविड-19 राहत अनुदान राशि तीन नवंबर को आपके खाते में डाल दी गई है।' इस योजना पर जवाब देते हुए वित्त मंत्रालय ने बुधवार को कहा कि "कर्जदाता संस्थान द्वारा सूक्ष्म, लघु और मझोले उद्यम (MSME) सहित कर्जदारों की आठ श्रेणियों के तहत लिए गये व्यक्तिगत कर्ज भी इस माफी योजना के तहत छूट पाने के हकदार होंगे।
आपके खाते में कितना आएगा अमाउंट: फिलहाल इस बात को लेकर बैंको ने कोई अधिकारिक पुष्टि नहीं की है, कि कौन से लोन पर कितना कैशबैक दिया जा रहा है। लेकिन जब हमनें जब कुछ जानने वालों से बात कि तो बताया गया कि उनके खाते में 60 से 90 रुपये के बीच आ रहे हैं। खैर, यह कोई बड़ी रकम तो नहीं है, इससे कैशबैक का नाम ना देकर रिवार्ड जरूर घोषित किया जा सकता है।
उच्चतम न्यायालय के निर्देशों के बाद, सरकार ने पिछले महीने लोन लेने वाले ग्राहकों को राहत देते हुए छह महीने के लिए चक्रवृद्धि ब्याज और साधारण ब्याज के बीच अंतर के भूतपूर्व भुगतान के अनुदान की योजना की घोषणा की थी। जिसमें हाउस लोन, शिक्षा लोन, क्रेडिट कार्ड बकाया, ऑटो लोन, एमएसएमई लोन, उपभोक्ता टिकाऊ ऋण और उपभोग ऋण योजना शामिल हैं।