Move to Jagran APP

Bihar Politics: 2025 के विधानसभा चुनाव के लिए लिटमस टेस्ट साबित होगा लोकसभा इलेक्शन, इन नेताओं की होगी अग्नि परीक्षा

लोकसभा चुनाव को लेकर बढ़ रही गर्मी के साथ हीं सियासी पारा भी चरम पर पहुंच चुका है। इस सीट को सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों अपनी-अपनी प्रतिष्ठा से जोड़कर देख रहे हैं। इस चुनाव को 2025 के विधानसभा चुनाव के लिटमस टेस्ट के रूप में देखा जा रहा है। लोकसभा चुनाव को लेकर सभी राजनीतिक पार्टियां में चुनाव-प्रचार को लेकर भागमभाग की स्थिति बनी हुई है।

By Prashant Prashar Edited By: Mohit Tripathi Published: Sat, 27 Apr 2024 05:43 PM (IST)Updated: Sat, 27 Apr 2024 05:43 PM (IST)
2025 के विधानसभा चुनाव के लिए लिटमस टेस्ट साबित होगा लोकसभा इलेक्शन। (फाइल फोटो)

दीपक कुमार गुप्ता, सिकटी (अररिया)। लोकसभा चुनाव को लेकर जहां सभी राजनीतिक दलों में प्रचार-प्रसार को लेकर भागमभाग की स्थिति बनी हुई है। वहीं इस बार चुनाव में अपनी साख को बचाने की बड़ी जिम्मेदारी पार्टियोंं पर आन पड़ी है।

loksabha election banner

इस बार के चुनाव में सभी राजनीतिक दलों के शीर्ष नेता यह गौर करेंगे कि आखिरकार किस वार्ड या बूथ स्तर पर कितने मत पड़े। इसके आधार पर विधानसभा स्तर के राजनीतिक नेताओं का भविष्य भी तय होगा।

जानकारों की मानें तो, आगामी विधानसभा चुनाव में भी टिकट के दावेदारों की पहचान लोकसभा चुनाव में पड़ने वाले वोटों से तय होगी। जिस विधानसभा टिकट दावेदार के यहां वोट कम पड़ेंगे, उनके लिए पार्टी कुछ अलग सोच सकती है।

लोकसभा चुनाव सबसे दिलचस्प

अररिया लोकसभा सीट की बात करें तो, यहां नौ प्रत्याशी चुनाव मैदान में है। बुद्धिजीवी मतदाताओं की मानें तो कुछ मजबूत निर्दलीय उम्मीदवारों के आने से मुकाबला संघर्षपूर्ण दिख रहा है। जबकि इससे पूर्व के चुनाव में एनडीए और महागठबंधन के बीच सीधा मुकाबला देखने को मिला है।

पार्टी के उम्मीदवार को जिताने की जिम्मेदारी वर्कर से लेकर जिलास्तर के नेताओं पर सौंपी गई है। इसलिए यह चुनाव उनकी साख की कसौटी की पहचान करने में भी सहायक साबित होगा। सभी राजनीतिक दल अपने कार्यकर्ताओं और नेताओं को इस बात से अवगत भी करवा चुके है।

सत्ताधारी विधायकों की बढ़ेंगी मुश्किलें

अररिया लोकसभा सीट में कुल छह विधानसभा क्षेत्र आते है। इसमें तीन पर भाजपा तथा एक-एक सीट पर राजद, जदयू और कांग्रेस के विधायक काबिज है।

प्रत्याशी की घोषणा के बाद सभी विधायकों के जिम्मे प्रत्याशी की जीत सुनिश्चित कराने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। जिस विधायक के क्षेत्र से वोट बैंक कम होगा, उसके लिए पार्टी में मुश्किलें खड़ी हो सकती है।

ऐसे में विधायकों के लिए बाजी लगाना जरूरी रहेगा। यही हालात अन्य राजनीतिक दलों में भी है। जिसके कारण पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं में बेचैनी देखी जा रही है।

अग्नि परीक्षा से कम नहीं होगा 2025 का विधानसभा चुनाव

2025 में विधानसभा का चुनाव होना है। इसके लिए कई नेता टिकट की जुगत में अभी से लगे हुए हैं। वहीं कई नए चेहरे टिकट को लेकर बीते एक साल से मेहनत कर रहे है।

सबसे ज्यादा होड़ सत्ताधारी पार्टी से टिकट पाने वालों में लगी है। अब लोकसभा चुनाव के दौरान उनकी असली परीक्षा होगी।

लोकसभा चुनाव के बाद प्रत्याशी के पक्ष में हुए मतदान के आधार पर प्रत्याशियों का चयन किया जा सकता है। ऐसे में लोकसभा चुनाव के दौरान हर नेताओं को अपनी साख का प्रदर्शन करना होगा।

अन्य दलों में भी ऐसी हीं स्थिति बनी हुई है। इस लोकसभा चुनाव में किन नेताओं की कैसी जनाधार है, यह आनेवाला समय हीं बताएगा।

यह भी पढ़ें: Lalu Yadav: 'आरक्षण, लोकतंत्र और संविधान क्यों खत्म... जवाब दें' लालू यादव ने PM Modi से पूछे ये तीखे सवाल

Lalu Yadav के इस Video पर भड़की BJP, डायरेक्ट इलेक्शन कमीशन से कर दी शिकायत


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.